पांच अंगुलियों में अंगूठे का महत्व सर्वाेपरि है. यह चारों अंगुलियों को सहयोग और सामर्थ्य प्रदान करता है. अंगूठे की महत्ता महाभारत काल से प्रमाणित है. गुरु द्रोणाचार्य ने छिपकर धनुर्विधा सीखने वाले भील युवक एकलव्य से दक्षिणा में अंगूठा ही मांगा था. तीरंदाजी में अंगूठे की भागदारी अति महत्वपूर्ण होती है.


हस्तरेखा शास्त्र में अंगूठे का विशेष महत्व है. जिस व्यक्ति का अंगूठा लंबा होता है वह तर्कशील और व्यवहारिक होता है. ऐसे लोग अच्छे वक्ता और वकील होते हैं. राजनीतिज्ञों के हाथों में भी अक्सर लंबा अंगूठा पाया जाता है. लंबा अंगूठा व्यक्तित्व को प्रभाविता प्रदान करता है. ऐसे लोग भीड़ में अलग नजर आते हैं.


अंगूठे का हथेली से जुड़ा भाग यदि भरा हुआ हो तो ऐसे व्यक्ति अपने अधिकारों की रक्षा करने में समर्थ होते हैं. मंगल प्रधान होते हैं. अच्छे रणनीतिकार और सक्रियता से भरे कार्याें को करने वाले होते हैं. ऐसे लोग आकर्षक और पद प्रतिष्ठा को पाने वाले होते हैं.


जिन लोगों का अंगूठे नाखून वाला पोर लंबा हो तो ऐसे व्यक्ति इच्छाशक्ति से प्रबल होते हैं. लक्ष्य बनाकर उन्हें पूरा करने के लिए जी जान लगा देते हैं. वचन के पक्के होते हैं. पद प्रतिष्ठा के प्रति संवेदनशील होते हैं. समाज में प्रतिष्ठा पाते हैं. यदि ऐसा अंगूठा बहुत मोटा हो तो व्यक्ति क्रोधी भी होते हैं.