Gajkesari Yoga In Hindi : मीन राशि में गजकेसरी योग का निर्माण हो रहा है. पंचांग के अनुसार मीन राशि 25 मई से लेकर 26 मई 2022 तक यह योग बना हुआ है. गजकेसरी योग को बेहद उत्तम फल प्रदान करने वाला योग माना गया है. ज्योतिष शास्त्र में गजकेसरी योग को अत्यंत शुभ योग में शामिल किया गया है.


गजकेसरी योग कब बनता है? (Gajkesari Yoga)
ज्योतिष शास्त्र के अनुसार जन्म कुंडली में गजकेसरी योग का निर्माण तब होता है जब गुरू और चंद्रमा की युति होती है. बृहस्पति ग्रह और चंद्रमा आपस में संबंध बनाते हैं तो गजकेसरी योग बनता है. यह एक ऐसा योग है जो चंद्रमा और गुरु से बनता है. गुरू को ज्योतिष शास्त्र में शुभ ग्रह माना गया है. इन्हें देवताओं का गुरू होने का गौरव प्राप्त है. वहीं चंद्रमा को मन का कारक माना गया है. यह शीतलता प्रदान करता है. 


गजकेसरी का मतलब क्या होता है? (Gajkesari Yoga Benefits)
गजकेसरी का क्या अर्थ होता है? इसके बारे में कहा जाता है कि गज यानि हाथ और केसरी का अर्थ यहां स्वर्ण से हैं. यानि ताकत और धन से जुड़ा योग है. यानि जिस व्यक्ति की कुंडली में गजकेसरी योग होता है उसके पास हाथ जैसी शक्ति, गंभीरता और लक्ष्मी जी का आशीर्वाद सदैव बना रहता है. ऐसे लोग जीवन में जिस भी क्षेत्र में हो वे अपार सफलताएं प्राप्त करते है. ये जीवन में उच्च पद के साथ मान सम्मान भी प्राप्त करते हैं.


गजकेसरी योग इन स्थितियों में पड़ जाता है कमजोर (How does Gajakesari yoga work?)
गजकेसरी योग जन्म कुंडली में होने के बाद भी कई बार ऐसी स्थितियां बन जाती है जब यह योग पूर्ण फल प्रदान नहीं कर पता है. ऐसा तभी संभव होता है जब इस योग को राहु या किसी पाप ग्रह की नजर पड़ जाए. राहु की दृष्टि से इस योग का पूर्ण फल नहीं मिलता है. इसके साथ ही जब कुंडली में चंद्रमा और गुरू की स्थिति कमजोर होती है तो भी गजकेसरी योग का पूर्ण फल प्राप्त नहीं होता है.


बृहस्पति और चंद्रमा को शुभ बनाएं (Remedy)
मान्यता है कि गजकेसरी योग का लाभ प्राप्त करने के लिए चंद्रमा और गुरू यानि बृहस्पति ग्रह का मजबूत होना आवश्यक है. ज्योतिषीय उपाय के अनुसार चंद्रमा को मजबूत बनाने के लिए भगवान शिव की पूजा करनी चाहिए वहीं, पूर्णिमा की तिथि पर चंद्रमा को जल देने से भी चंद्रमा की अशुभता कम होती है. गुरू को शुभ बनाने के लिए बृहस्पतिवार के दिन भगवान विष्णु की पूजा करनी चाहिए. पीली वस्तुओं का दान करने से भी गुरु मजबूत होता है. मीन राशि वालों को आज और कल भगवान विष्णु और शिवजी की विशेष पूजा करना चाहिए. इससे इस योग की शुभता में वृद्धि होगी.


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