रतन टाटा देश ही नहीं बल्कि दुनिया के सबसे बड़े उद्योगपतियों में से एक थे. उन्होंने देश के लिए कई तरह से सहयोग दिया है.
Image Source: tatamotors.com
रतन टाटा ने टाटा मोटर्स को उस ऊंचाई तक पहुंचाया, जहां तक पहुंचने की कल्पना कभी उनके विरोधियों ने भी नहीं की थी.
Image Source: tatamotors.com
फोर्ड ने साल 1998 में टाटा ग्रुप से कहा था कि ये कंपनी कभी भी कार नहीं बना सकती.
Image Source: india.ford.com
वहीं एक दौर ऐसा आया कि जब टाटा मोटर्स इतनी शक्तिशाली बन गई कि उसने फोर्ड से एक बड़ी कार कंपनी को ही खरीद लिया.
Image Source: PTI
फोर्ड ने कई सालों तक ऑटो इंडस्ट्री पर राज किया है. 90 के दशक में फोर्ड ने जगुआर, ऑस्टिन मार्टिन और वॉल्वो जैसी कई प्रीमियम कार बनाने वाली कंपनियों के साथ डील साइन की थी.
Image Source: astonmartin.com
इन कंपनियों को खरीदने के बाद साल 2000 में फोर्ड ने लैंड रोवर को भी अपने वेंचर्स में शामिल कर लिया.
Image Source: landrover.in
फोर्ड के शिखर पर पहुंचने के बाद उसका काफी बुरा दौर भी आया. फोर्ड का साल 2006 में 12.7 बिलियन डॉलर का भारी नुकसान हुआ.
Image Source: landrover.in
तब साल 2008 में रतन टाटा ने जैगुआर लैंड रोवर खरीदकर फोर्ड को दिवालिया होने से बचा लिया.
Image Source: PTI
रतन टाटा ने उस दौर में फोर्ड से इन कंपनियों को 2.3 बिलियन डॉलर खरीदा था. साल 2008 से ही लैंड रोवर रेंज रोवर का असली मालिक टाटा ग्रुप है.