Nepal Protests: क्या विपक्ष आंदोलन के नाम पर अराजकता चाहता है? छिड़ी बड़ी Debate
एबीपी न्यूज़ डेस्क | 10 Sep 2025 06:22 PM (IST)
नेपाल में जारी विरोध प्रदर्शनों और भारत में उसकी राजनीतिक प्रतिक्रियाओं पर एक गरमागरम बहस हुई। चर्चा संजय राउत के एक ट्वीट से शुरू हुई, जिसमें उन्होंने नेपाल की स्थिति को भारत से जोड़ा था। बहस के दौरान, एक वक्ता ने कहा कि देश संविधान से चलता है, किसी की मर्जी से नहीं, और अगर संविधान के खिलाफ काम होगा तो आंदोलन होंगे। उन्होंने देश में युवाओं की समस्याओं, बेरोजगारी और कौमवाद फैलाने के प्रयासों पर चिंता व्यक्त की। दूसरे वक्ता ने नेपाल और भारत की तुलना को अनुचित बताया और कहा कि भारत दुनिया का सबसे बड़ा लोकतंत्र है। उन्होंने 2011-12 के इंडिया अगेंस्ट करप्शन आंदोलन का भी जिक्र किया और कहा कि उस समय अराजकता को बढ़ावा दिया गया था। बहस का समापन इस बात पर हुआ कि "सरकारें आएंगी, सरकारें जाएंगी लेकिन ये देश रहना चाहिए" और नेपाल की आपदा में देश के भीतर अवसर तलाशने की कोशिश नहीं करनी चाहिए। युवाओं को भड़काने वालों को बेनकाब करने की जिम्मेदारी पर जोर दिया गया।