Ex-IPS Officer Online Scam: आज के वक्त में जहां लोग दिनभर ऑनलाइन रहते हैं. तो अब ऑनलाइन ठगी का दायरा भी काफी बड़ा गया है. यह अब काफी खतरनाक हो चुका है कि इसकी चपेट में वही लोग भी आ रहे हैं. जो जिंदगी भर कानून और सुरक्षा व्यवस्था का हिस्सा रहे हैं. ऐसा ही एक मामला इन दिनों पंजाब से सामने आया है. जहां पूर्व आईपीएस और रिटायर्ड आईजी अमर सिंह चहल के साथ बड़ी साइबर ठगी हुई है.
साइबर फ्रॉड से लोगों को बचाने वाले एक वरिष्ठ अधिकारी खुद इतने बड़े स्कैम में फंस गए. इस ठगी के चलते वह इतने मानसिक दबाव में आ गए कि उन्होंने ऐसा कदम ले लिया है. जिसे जानकर हर कोई हैरान है. पुलिस महकमे के इतने बड़े अफसर को स्कैमर्स ने कितनी शातिर प्लानिंग के साथ जाल में फंसाया. चलिए बताते हैं कैसे हुई पूर्व आईपीएस अमर सिंह के साथ ठगी.
ऑनलाइन निवेश के नाम पर फंसाया गया
पुलिस को मिले 12 पन्नों के सुसाइड नोट में अमर सिंह चहल ने बताया कि साइबर ठगों ने उन्हें ऑनलाइन निवेश और हाई रिटर्न स्कीम के जरिए निशाना बनाया. शुरुआत में छोटी रकम लगवाई गई और कुछ मुनाफा भी दिखाया गया. जिससे उनका भरोसा बन सके.
इसके बाद स्कैमर्स ने पूर्व आईपीएस अमर सिंह से टैक्स प्रोसेसिंग फीस, अकाउंट अनब्लॉक चार्ज और दूसरे बहानों से लगातार बड़ी रकम ट्रांसफर करवाई. धीरे धीरे यह सिलसिला इतना बढ़ गया कि कुल ठगी की रकम करीब 8.10 करोड़ रुपये तक पहुंच गई. जब पूर्व आईपीएस चहल ने पैसे वापस मांगने शुरू किए. तो ठगों ने उनसे पूरी तरह काॅन्टेक्ट तोड़ दिया.
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मानसिक दबाव के चलते उठाया यह कदम
सुसाइड नोट में अमर सिंह चहल ने साफ लिखा है कि आर्थिक नुकसान के साथ साथ मानसिक तनाव ने उन्हें अंदर से तोड़ दिया. परिवार की चिंता, समाज में बदनामी का डर और लगातार ठगे जाने का एहसास उनके लिए असहनीय हो गया. सोमवार को पटियाला स्थित अपने आवास पर उन्होंने खुद को गोली मार ली.
जिसके बाद गंभीर हालत में उन्हें पार्क अस्पताल में भर्ती कराया गया. यह घटना बताती है कि साइबर ठगी सिर्फ पैसों का नुकसान नहीं करती. बल्कि व्यक्ति की मानसिक स्थिति पर भी गहरा असर डालती है. यह केस एक कड़ी चेतावनी है कि ऑनलाइन निवेश या किसी भी डिजिटल ऑफर में कदम रखने से पहले पूरी जांच और सतर्कता कितनी जरूरी है.
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स्कैम से बचने के टिप्स
ऑनलाइन स्कैम से बचने के लिए सबसे पहले किसी भी निवेश या ऑफर पर आंख बंद करके भरोसा न करें. ज्यादा रिटर्न का वादा करने वाली स्कीम से हमेशा दूरी रखें. अनजान कॉल, मैसेज या लिंक पर क्लिक करने से पहले उसकी हकीकत पता करने की कोशिश करें.
कभी भी OTP, पिन या बैंक डिटेल किसी के साथ साझा न करें. सोशल मीडिया या मैसेजिंग ऐप पर मिलने वाली निवेश सलाह को नजरअंदाज करें. किसी भी डिजिटल ट्रांजेक्शन से पहले आधिकारिक वेबसाइट या भरोसेमंद सोर्स से जानकारी जरूर लें.
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