नई दिल्लीः अगर आपके पास आधार नहीं है तो मुमकिन है कि आपका नंबर बंद हो जाएगा. सभी मौजूदा मोबाइल उपभोक्ताओं को जल्द ही अपना आधार वेरिफिकेशन कराना होगा. सरकार ने टेलिकॉम ऑपरेटर्स इसके निर्देश दिए हैं.

दूरसंचार सेवाप्रदाताओं के संगठन सीओएआई ने कहा कि उसकी सदस्य कंपनियां इस हफ्ते बैठक कर मौजूदा एक अरब से भी अधिक मोबाइल उपभोक्ताओं की प्रमाणन प्रक्रिया की रूपरेखा पर चर्चा करेंगी.

टेलीकॉम ऑपरेटर्स को नोटिस जारी किया है. नोटिस में कहा गया है कि ‘देश के सभी नंबरों को दोबारा से e-KYC प्रक्रिया के जरिए वैरिफाई करना होगा. जो भी नंबर वैरिफाई नहीं होगा या आधार से लिंक नहीं होगा तो वह नंबर 6 फरवरी 2018 के बाद भारत में गैरकानूनी होगा.’

अधिसूचना में कहा गया है कि सभी कंपनियों को अपने मौजूदा ग्राहकों को प्रिंट, इलेक्ट्रॉनिक और एसएमएस के माध्यम से उच्चतम न्यायालय के रि-वैरिफिकेशन के आदेश की सूचना देनी होगी. उन्हें इस प्रक्रिया की जानकारी अपनी वेबसाइट पर देनी चाहिए.

सुप्रीम कोर्ट ने दिया था निर्देश ये फैसला हाल ही में सुप्रीम कोर्ट के केंद्र सरकार को दिए गए निर्देश को देखते हुए लिया गया है. कोर्ट ने कहा था कि क्रेंद देश में जल्द ही प्रीपेड मोबाइल नंबरों का वेरिफिकेशन शुरू करे. उपभोक्ता के सही पाए जाने पर ही नंबर जारी रखने दिया जाए. इस वक्त केंद्र की तरफ से एटॉर्नी जनरल मुकुल रोहतगी ने कोर्ट को बताया था कि पोस्ट पेड मोबाईल उपभोक्ताओं की पहचान में कोई समस्या नहीं है. लेकिन 90 फीसदी से ज़्यादा नंबर प्रीपेड हैं. इन सबको वेरीफाई किया जाएगा.हालांकि, अगर इस काम में ज़्यादा तेज़ी दिखाई गयी तो इससे काफी असुविधा होगी. रिचार्ज करने वाली दुकानों के बाहर लोगों की लंबी लाइन लगने लगेगी.

चीफ जस्टिस जे एस खेहर और एन वी रमना की बेंच ने केंद्र की दलीलों को स्वीकार किया था. कोर्ट ने कहा था कि लोगों को अपनी पहचान साबित करने के लिए पर्याप्त समय दिया जाए. सरकार इस बात की कोशिश करे कि सारी प्रक्रिया एक साल के भीतर पूरी हो जाए.