विधायक पूजा पाल के समाजवादी पार्टी से निष्कासन के बाद उत्तर प्रदेश में सियासी हलचल तेज है. योगी सरकार में मंत्री जयवीर सिंह ने इस मुद्दे पर सपा नेतृत्व को घेरते हुए तीखा हमला बोला है. उन्होंने समाजवादी पार्टी पर कई गंभीर आरोप भी लगाए हैं.
योगी सरकार के मंत्री जयवीर सिंह ने पाल बघेल समाज की विधवा के पति यानी राजू पाल की हत्या का जिक्र करते हुए अखिलेश यादव और समाजवादी पार्टी पर पूजा पाल के निष्कासन पर तीखा कटाक्ष किया है. उनके इस बयान की अब खूब चर्चा हो रही है.
क्या बोले सीएम योगी के मंत्री?
जयवीर सिंह ने कहा कि एक ओर समाजवादी पार्टी PDA की बात करती है, वहीं दूसरी ओर पाल बघेल समाज की विधवा पत्नी के पति की निर्मम हत्या एक ऐसे कुख्यात अपराधी ने करवाई, जो सपा से जुड़ा रहा है. उन्होंने आरोप लगाया कि उस दौर में प्रदेश की कानून-व्यवस्था को बनाए रखने की बजाय सपा नेतृत्व ने अपराधियों को संरक्षण दिया और न्याय दिलाने के प्रयासों में रोड़े अटकाए.
मंत्री ने कहा कि यह बेहद दुर्भाग्यपूर्ण है कि जिस महिला ने अपने पति की हत्या के बाद भी साहसपूर्वक न्याय की लड़ाई लड़ी, उसे ही आज पार्टी से बाहर कर दिया गया. उन्होंने कहा कि पूजा पाल ने विधानसभा में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की तारीफ करते हुए केवल सच्चाई सामने रखी थी कि मौजूदा सरकार ने अपराधियों पर सख्त कार्रवाई की और न्याय दिलाने में मदद की, लेकिन सपा को यह बात बर्दाश्त नहीं हुई और उन्हें पार्टी से निष्कासित कर दिया.
जयवीर सिंह ने सपा पर लगाए ये आरोप
जयवीर सिंह ने आरोप लगाया कि समाजवादी पार्टी लगातार अपराधियों और माफियाओं के साथ खड़ी रही है. उन्होंने कहा कि प्रदेश की जनता देख चुकी है कि किस तरह अतीक अहमद जैसे अपराधियों को सपा के दौर में राजनीतिक संरक्षण मिलता रहा. यही कारण है कि सपा का “पिछड़े-दलित-अल्पसंख्यक” (PDA) का नारा सिर्फ दिखावा है, जबकि जमीनी हकीकत इससे बिल्कुल उलट है.
मंत्री ने कहा कि भाजपा सरकार ने योगी आदित्यनाथ के नेतृत्व में कानून-व्यवस्था को सख्ती से लागू किया है और अपराधियों को जेल भेजकर या उनके नेटवर्क को ध्वस्त कर न्याय की राह प्रशस्त की है. उन्होंने यह भी कहा कि जनता अब सपा की सच्चाई समझ चुकी है और 2027 के चुनाव में उसे इसका करारा जवाब देगी.
राहुल गांधी की मतदाता अधिकार यात्रा पर बोले जयवीर सिंह
मंत्री जयवीर सिंह ने मतदाता अधिकार यात्रा पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि यह सिर्फ बिहार चुनाव के दौरान जनता को भ्रमित करने की एक रणनीति है. उन्होंने कहा कि चुनाव आयोग लगातार प्रयास कर रहा है कि कोई भी अयोग्य उम्मीदवार चुनाव में शामिल न हो और न ही कोई योग्य मतदाता सूची से बाहर रह जाए.
वहीं उन्होंने कहा इसके साथ ही मृतकों या डुप्लीकेट वोटरों के नाम लिस्ट में न बने रहें, इसके लिए भी आयोग काम कर रहा है. सिंह ने कहा कि आयोग का यह लगातार प्रयास एक साफ और पारदर्शी वोटर लिस्ट बनाने की दिशा में हो रहा है.