Lok Sabha Election 2024: लोकसभा चुनाव के पहले भारतीय जनता पार्टी हर एक तबके को अपने साथ जोड़ना चाहती है और इसी कड़ी में भारतीय जनता पार्टी अलग-अलग पिछड़ी जातियों को साधने के लिए प्रधानमंत्री विश्वकर्मा योजना का सहारा ले रही है. प्रधानमंत्री मोदी के जन्मदिन के अवसर पर शुरू की गई पीएम विश्वकर्मा योजना को अलग-अलग जातियां मिलाकर कुल 18 ऐसी जातियां हैं जिनको इससे जोड़ा जा सकता है. 

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गुरुवार को बीजेपी दफ्तर में हुई बैठक में तय हुआ कि 18 पारंपरिक विधा से जुड़े कारीगरों को इस योजना से ऋण उपलब्ध कराया जाएगा और जिला स्तर पर इसके लिए जिला अध्यक्ष की अगुवाई में तीन सदस्यीय कमेटी गठित होगी. यही कमेटी योजना के लिए जिला प्रशासन स्तर पर होने वाली बैठकों में भी शामिल होगी. अब इस योजना के जरिए पार्टी ने एक नया लाभार्थी वर्ग तैयार कर वोट बैंक बनाने की रणनीति भी बना ली है.

ओबीसी जातियों को जोड़ने में जुटी बीजेपीभारतीय जनता पार्टी के प्रदेश मुख्यालय पर पीएम विश्वकर्मा योजना को लेकर के जिला संयोजकों की बैठक हुई. इस बैठक को दिल्ली से आए राष्ट्रीय महामंत्री सुनील बंसल ने संबोधित किया और संबोधित करते हुए उन्होंने कहा कि पूरे प्रदेश के हर एक बूथ पर चार से पांच और विधानसभा स्तर पर लगभग 1000 लोगों को इस योजना से लाभ दिलाना है.

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सुनील बंसल ने कार्यकर्ताओं को प्रेरित करते हुए कहा कि कार्यकर्ता अपने विधानसभा और अपने क्षेत्र में ऐसे लोगों को ढूंढे जिनको इसका लाभ मिलना चाहिए और उनकी सिफारिश करें फिर उनके सिफारिश से लाभान्वित होने वाले लोगों से लगातार संपर्क में रहे. कार्यकर्ता अलग-अलग लोगों को इससे लाभान्वित कर सकता है. हालांकि एक परिवार से एक ही सदस्य को इस योजना में लाभ मिल सकता है. बीजेपी ने इस योजना को सही रूप देने के लिए प्रदेश स्तर से लेकर के क्षेत्र स्तर तक प्रभारी बनाए हैं. जिला में जिला संयोजकों को उसकी जिम्मेदारी दी गई है तो वहीं कई जिलों में पूर्व जिला अध्यक्षों को भी योजना में अधिक से अधिक पंजीकरण कराने की जिम्मेदारी सौंपी गई है.