शामली के सामुदायिक स्वास्थ्य केंद्र (सीएचसी) के प्रभारी डॉक्टर दीपक पंवार ने उत्तर प्रदेश पुलिस पर फेक एनकाउंटर के आरोप लगाये हैं. उन्होंने कहा कि पुलिस अपने आप मुलजिम को 20 गोली मारकर लाती है. सीओ, एसपी खुद खड़े होकर जबरदस्ती एक गोली लिखवाते हैं. उन्होंने पुलिस को चुनौती देते हुए कहा कि इनके पर्चे खोलेंगे. हम इनके चिट्ठे खोलेंगे. मानवाधिकार से इसकी जांच कराएं. कितनी गोली मारकर लाते हैं, कितनी लिखवाते हैं. 

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राकेश टिकैत के हैं दामाद

उन्होंने यहां तक कहा कि जेबकतरे को गोली मार देंगे और जो असली हत्यारा है उसे छोड़ देंगे. कानून के रक्षक ये ही हैं क्या, ये सबसे बड़े डकैत बैठे हैं. छह लाख वाले को बिरयानी खिलाते हैं और छोड़ देते हैं. डॉक्टर के बयान से पुलिस में हड़कंप मच गया. किसी तरह डॉक्टर को समझाकर शांत किया. आपको बता दें कि शामली सीएचसी के प्रभारी डॉक्टर दीपक पंवार भाकियू नेता राकेश टिकट के दामाद हैं.

बीते दिनों डॉक्टर के कैंप कार्यालय में हुई थी चोरी

दरअसल,  सीएचसी के चिकित्साधीक्षक डॉ. दीपक कुमार 10 दिन पूर्व 19 अक्टूबर 2025 की शाम को दीपावली पर परिवार समेत अपने गांव टांडा माजरा गए थे. दो दिन बाद 21 अक्टूबर की सुबह पहुंचे तो कैंप कार्यालय में रखी अलमारी टूटी हुई मिली थी और लॉकर में रखे साढ़े पांच लाख रुपये गायब मिले.

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चोरी का खुलासा न होने पर भड़क गए डॉक्टर

इस मामले का खुलासा न होने पर स्वास्थ्य कर्मियों ने बीते बुधवार को पुलिस के खिलाफ धरना-प्रदर्शन किया था. शहर कोतवाली में हंगामे के दौरान डॉ. दीपक इतने आक्रोशित हो गए कि उन्होंने पुलिस मुठभेड़ों पर गंभीर आरोप लगा दिए. डॉक्टर के इस आरोप के बाद यूपी पुलिस के एनकाउंटर पर सवाल उठने लगे हैं. हालांकि, विपक्षी नेताओं की तरफ से पहले भी कई बार यूपी पुलिस पर फर्जी एनकाउंटर का आरोप गया है.

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