UP News: यूपी के शामली में इंसानियत को शर्मसार करने वाला सामने आया है. दहेज में कार न मिलने के कारण दुल्हा और उसका परिवार बारात लेकर नहीं पहुंचा. दुल्हन हाथों में मेंहदी लगाए इंतजार करती रही. दुल्हन के साथ-साथ पूरा परिवार सदमे में है, फिलहाल परिवार ने अब इंसाफ के लिए पुलिस से गुहार लगाई है.

जानकारी के मुताबिक शहर कोतवाली क्षेत्र के खेड़ी गांव में मजदूर राशिद की दो बेटियों, सानिया और साहिबा, का निकाह तय हुआ था. साहिबा की बारात बागपत के असारा गांव से सुहैब लेकर आया, लेकिन सानिया की बारात कैराना निवासी शादाब को लानी थी, जो कि नहीं आई.

दुल्हन पक्ष का आरोप है कि शादी से पहले उन्होंने दूल्हे को तीन लाख रुपये नकद, बाइक और अन्य दहेज का सामान दिया था. इसके बावजूद शादी से एक दिन पहले दूल्हे पक्ष ने कार की मांग रखी. मजदूर परिवार इस मांग को पूरा करने में असमर्थ था. परिवार ने दूल्हे के घर जाकर मिन्नतें की, लेकिन दहेज लोभियों ने बारात लाने से इनकार कर दिया.

दुल्हन ने की इंसाफ की मांग

दुल्हन सानिया का कहना है कि शादी की तैयारियों के बीच उनके घर में खुशियों का माहौल था, लेकिन दूल्हे पक्ष की इस हरकत ने सब कुछ मातम में बदल दिया बारात न आने से परिवार को लाखों रुपये का नुकसान हुआ. दुल्हन की मां ने परिवार के साथ कोतवाली थाने में तहरीर देकर इंसाफ की गुहार लगाई है.

उधर, इस मामले में पुलिस की तरफ से कोई बयान नहीं आया है, जबकि इस घटना ने एक बार फिर समाज में दहेज लोभी दानव का रूप दिखा दिया कि अभी भी समाज में लोग इस बुराई को त्यागने के लिए तैयार नहीं है.

सानिया जिस रिश्ते और परिवार को संजोने के सपने देख रही थी, वो बनने से पहले ही उजड़ गए. हैरानी इस बात की है कि अभी भी समाज के जो जिम्मेदार लोग हैं, वो सामने नहीं आए और न ही परिवार की कोई मदद की.