Saharanpur Funeral News: सहारनपुर में जिस बेटे का अंतिम संस्कार परिवार के लोग कर चुके थे, वह 8वें दिन जब अपने घर पहुंचा तो सब हैरान हो गए. मां की खुशी का ठिकाना नहीं रहा और बेटे को जिंदा देखकर मां की आंखों में खुशी के आंसू छलक पड़े. जिस युवक का अंतिम संस्कार परिवार के लोगों ने पहचान कर किया था, वह कौन था इसका पता अभी तक नहीं हो पाया है.


सहारनपुर के थाना बड़गांव के गांव चिराऊ में चंद्र प्रजापति का परिवार रहता है, उनके तीन बेटे हैं. जिनमें प्रमोद कुमार दूसरे नंबर का बेटा है. 29 जनवरी को प्रमोद घर पर हरिद्वार में किसी ढाबा पर नौकरी की बात कहकर निकला था. 31 जनवरी को मुजफ्फरनगर में उसकी शक्ल की तरह दिखने वाले एक मृत युवक का सोशल मीडिया पर फोटो वायरल हुआ. इस वायरल फोटो को देखकर प्रमोद के परिजनों में कोहराम मच गया. परिजनों ने प्रमोद के नंबर पर कॉल करके भी देखा लेकिन उसका नंबर नहीं मिला. जिससे उन्होंने उस अज्ञात शव को ही प्रमोद का शव मान लिया.


परिजनों ने हाथ और आंख पर निशान देख कर युवक की पहचान की थी. फोटो को लेकर परिजन मुजफ्फरनगर मोर्चरी में पहुंचे और उन्होंने शव की पहचान प्रमोद के रूप में की. मृत अज्ञात युवक की दाई आंख पर कट का निशान और हाथ में पीके लिखा हुआ दिखा. जिसके बाद वह शव को गांव में लेकर आ गए. परिजनों ने शव का अंतिम संस्कार किया, उसकी फोटो भी खिंचवाई. 5 फरवरी को रस्म पगड़ी होनी थी, परिजनों ने उसकी तैयारी कर ली थी. रस्म पगड़ी भी कर ली गई.


प्रमोद कुमार जब रस्म पगड़ी वाले दिन गांव में पहुंचा, तब हर कोई उसे देखकर भूत-भूत चिल्लाने लगा. एक दुकानदार ने तो उसे भूत समझकर कोल्ड्रिंक देने से मना कर दिया और दुकान में जाकर छुप गया. जब उसके जीवित होने की खबर गांव में फैली तो उसे देखने के लिए ग्रामीणों का तांता लग गया. परिजनों तक उसके जीवित होने की खबर पहुंची तो वह भी उसको देखने के लिए दौड़ पड़े.


जब प्रमोद के परिजन उसे घर लेकर गए तब उसकी मां बोहती देवी जो पिछले सात दिनों से लगातार रो रही थी, उसके आंसू रुकने का नाम नहीं ले रहे थे. बेटे को जिंदा देखकर उसकी खुशी का ठिकाना नहीं रहा और प्रमोद की मां की आंखों में खुशी के आंसू आ गए. प्रमोद की मां ने कहा, बेटा तू कहां चला गया था, तेरे फोन भी नहीं लग रहा था, हमने सोचा यहीं मेरे बेटा है, जिसका मोर्चरी में शव मिला. वहीं फोटो पर माला देखकर प्रमोद नाराज हो गया, उसने माला सहित फोटो उतारकर फेंक दी.


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