रामनगरी अयोध्या में कल, मंगलवार 25 नवंबर को, देश के प्रधानमंत्री के प्रस्तावित ध्वजारोहण कार्यक्रम के मद्देनजर अयोध्या के पड़ोसी जनपद गोंडा में सुरक्षा व्यवस्था अत्यंत कड़ी कर दी गई है. जिले के नवाबगंज-अयोध्या बॉर्डर पर सुरक्षा को लेकर अभूतपूर्व चौकसी बरती जा रही है, जिसके लिए व्यापक स्तर पर रूट डायवर्जन भी किया गया है.

Continues below advertisement

कार्यक्रम की संवेदनशीलता और अपेक्षित भीड़ व्यवस्थापन को ध्यान में रखते हुए, सुरक्षा तैयारियों का जायजा लेने के लिए स्वयं SP विनीत जायसवाल मौके पर पहुंचे और अधिकारियों को आवश्यक दिशा-निर्देश दिए. उन्होंने बॉर्डर पर लगाए गए बैरियर, सीसीटीवी कैमरों, यातायात मार्गों और एंट्री-एग्जिट चेकपॉइंट्स का गहन निरीक्षण किया.

अनुशासन के साथ ड्यूटी करने के दिए गए निर्देश 

सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत करने के लिए गोंडा की सीमावर्ती इलाकों में दो एडिशनल SP रैंक के अधिकारी, 25 CO रैंक के अधिकारी और दो कंपनी पीएसी तैनात की गई है. सुरक्षा बल को उच्च सतर्कता, संवेदनशीलता और अनुशासन के साथ ड्यूटी करने के निर्देश दिए गए हैं.

Continues below advertisement

पहचान और जांच पर विशेष  दिया जा रहा ध्यान

सबसे महत्वपूर्ण है निगरानी का तरीका. ड्रोन कैमरे से तटीय एवं सीमावर्ती इलाकों की लगातार निगरानी की जा रही है. साथ ही, बॉर्डर पर आने-जाने वाले वाहनों और संदिग्ध व्यक्तियों की सघन चेकिंग अनिवार्य रूप से की जा रही है. सीमावर्ती गांवों के होटलों और ढाबों पर नए लोगों की पहचान और जांच पर विशेष ध्यान दिया जा रहा है.

किसी भी प्रकार की शिथिलता नहीं होगी स्वीकार्य 

SP ने स्पष्ट निर्देश दिए कि सुरक्षा के सभी प्रोटोकॉल का कड़ाई से पालन हो और कार्यक्रम की गरिमा को देखते हुए सुरक्षा में किसी भी प्रकार की शिथिलता स्वीकार्य नहीं होगी. मोबाइल गश्त, इंटरसेप्शन टीम, चेकिंग पिकेट और त्वरित प्रतिक्रिया दल (QRT) को सक्रिय रहने के निर्देश दिए गए हैं, ताकि प्रधानमंत्री के आगमन और कार्यक्रम के दौरान सुरक्षा व्यवस्था पूरी तरह मजबूत बनी रहे.