BJP में शामिल होंगी विधायक पूजा पाल? सीएम योगी और डिप्टी CM केशव प्रसाद मौर्य को बताया अभिभावक
UP News: विधायक पूजा पाल ने अपनी राजनीतिक स्थिति पर बोलते हुए बताया कि समाजवादी पार्टी से बाहर किए जाने के बाद वह लगातार भारतीय जनता पार्टी के आयोजनों में हिस्सा ले रही हैं.

कौशांबी की चायल सीट से विधायक और समाजवादी पार्टी से निष्कासित की गईं पूजा पाल ने प्रयागराज सर्किट हाउस में उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य से शिष्टाचार भेंट की. इस मुलाकात के दौरान उन्होंने डिप्टी सीएम के चरण स्पर्श कर उनका आशीर्वाद भी प्राप्त किया.
विधायक पूजा पाल ने इस मुलाकात के बाद मीडिया से बातचीत में कहा कि मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और उपमुख्यमंत्री केशव प्रसाद मौर्य उनके लिए अभिभावक समान हैं. उन्होंने कहा कि उनके पति और तत्कालीन बसपा विधायक राजू पाल की 2005 में हुई हत्या के मामले में 18 साल बाद पहली बार उन्हें न्याय मिला, जो योगी सरकार की वजह से संभव हो पाया. पूजा पाल ने स्वीकार किया कि न्याय मिलने की इसी वजह से उन्होंने राज्यसभा चुनाव में क्रॉस वोटिंग की थी.
सपा से निष्कासन के बाद BJP कार्यक्रमों में सक्रिय
पूजा पाल ने अपनी राजनीतिक स्थिति पर बोलते हुए बताया कि समाजवादी पार्टी से बाहर किए जाने के बाद वह लगातार भारतीय जनता पार्टी के आयोजनों में हिस्सा ले रही हैं. उन्होंने यह भी कहा कि बिहार विधानसभा चुनाव के दौरान भी वह बीजेपी के लिए सक्रिय प्रचार कर रही थीं.
BJP में शामिल होंगी पूजा पाल?
पूजा पाल ने बताया कि बिहार चुनाव में शानदार जीत के बाद डिप्टी सीएम पहली बार प्रयागराज आए हैं, इसलिए वह शुभकामनाएं देने और आशीर्वाद लेने पहुंचीं. विधायक पूजा पाल से जब पूछा गया कि क्या वह आधिकारिक रूप से BJP में शामिल होंगी तो पूजा पाल ने कहा कि इस बारे में उचित समय पर कोई निर्णय लिया जाएगा. उन्होंने 2027 के विधानसभा चुनाव को लेकर भी कहा कि फिलहाल यह तय नहीं है कि वह किस सीट से चुनाव लड़ेंगी और इस पर पार्टी के वरिष्ठ नेता ही अंतिम फैसला करेंगे.
पुरानी सीट शहर पश्चिमी से लड़ने की चर्चा तेज
हालांकि उन्होंने अपनी अगली चुनावी सीट पर स्पष्ट जवाब नहीं दिया, लेकिन राजनीतिक हलकों में चर्चा है कि वह अपनी पुरानी सीट प्रयागराज शहर पश्चिमी से चुनाव मैदान में उतर सकती हैं. इस समय वह चायल विधानसभा से विधायक हैं और 2022 में सपा के टिकट पर जीतकर विधानसभा पहुंची थीं.
राजू पाल की हत्या के बाद 18 साल की लंबी कानूनी लड़ाई
पूजा पाल उस समय सुर्खियों में आई थीं जब 25 जनवरी 2005 को शादी के कुछ ही दिनों बाद उनके पति और बसपा विधायक राजू पाल की गोली मारकर हत्या कर दी गई थी. इस हत्याकांड में मुख्य आरोप माफिया अतीक अहमद और उसके भाई अशरफ पर लगा. पूजा पाल ने इस मामले में ट्रायल कोर्ट से लेकर हाईकोर्ट और सुप्रीम कोर्ट तक 18 साल लंबी कानूनी लड़ाई लड़ी.
क्रॉस वोटिंग के बाद से BJP नेताओं से बढ़ी नजदीकी
अतीक-अहमद नेटवर्क के खत्म होने के बाद उन्होंने राज्यसभा चुनाव में सपा के खिलाफ जाकर बीजेपी के पक्ष में मतदान किया. इसके बाद से वह लगातार मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ और डिप्टी सीएम केशव प्रसाद मौर्य से मुलाकात करती रही हैं. समाजवादी पार्टी से निष्कासन के बाद तो वह खुलकर बीजेपी नेताओं के साथ मंच साझा कर रही हैं और पार्टी प्रत्याशियों के लिए प्रचार भी कर रही हैं.
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