गाजियाबाद: उत्तर प्रदेश में गाजियाबाद जिले के मोदीनगर में एसडीएम के पद पर तैनात आईएएस सौम्या पांडेय की इन दिनों खूब चर्चा हो रही है. सौम्या पांडेय ने 22 दिन पहले एक बच्ची को जन्म दिया और अब वह अपनी ड्यूटी पर लौट आई. इस खबर के सामने आते ही सौम्या पांडेय की सोशल मीडिया पर तारीफ होने लगी. लेकिन अब 22 दिन की बच्ची के साथ ड्यूटी करने को लेकर उनकी आलोचना भी हो रही है. कई लोगों ने सोशल मीडिया पर इसे एक स्टंट करार दिया है.
'ऐसे प्रचार स्टंट शिशु और नई माताओं के लिए खतरनाक'
पत्रकार रोहिणी सिंह ने ट्विटर पर लिखा है, ‘’मैटरनिटी लीव ऐसी छुट्टियां नहीं हैं, जिसका लाभ महिलाएं उठाती हैं. महिलाओं को प्रसव से और शिशुओं को लगातार माताओं की जरूरत है. इस जैसे प्रचार स्टंट शिशु और नई माताओं दोनों के स्वास्थ को खतरे में डालने का काम करते हैं.’’
''तो फिर मैटरनिटी लीव का क्या उपयोग है?''
दिल्ली यूनिवर्सिटी की शिक्षिका डॉ. चयनिका उनियाल ने लिखा है, "मेरे दृष्टिकोण के मुताबिक यह उन दोनों के स्वास्थ्य के लिए अच्छा नहीं है. मुझे नहीं लगता कि कोई भी डॉक्टर ऐसी सलाह देगा. उस स्थिति में मैटरनिटी लीव का क्या उपयोग है?’’
''यह गैर जिम्मेदाराना हैं''
पूर्व वैज्ञानिक पी विश्वनाथ ने लिखा है, ‘’सौम्या पांडेय यह गलत है. आप अपने छोटे बच्चे को खतरे में डाल रहे हैं जो खुद नहीं बोल सकता. यह गैर जिम्मेदाराना हैं.’’
एक मां के दायित्वों का निर्वाहन करना मेरा फर्ज- सौम्या पांडेय
बता दें कि प्रयागराज की रहने वालीं सौम्या पांडेय की गाजियाबाद में मोदीनगर एसडीएम के पद पर यह पहली नियुक्ति है. सौम्या पांडेय ने बताया कि इस दौरान उन्हें लगातार अधिकारियों और कर्मचारियों का सहयोग मिलता रहा. उन्होंने कहा कि कर्तव्यों के साथ-साथ एक मां के दायित्वों का निर्वाहन करना भी उनका फर्ज है. और वो वही कर रही हैं.
यह भी पढ़ें-
गोल्ड की कीमत शिखर पर पहुंचकर अब लुढ़क रही है, ऐसे में जानिए- क्यों अभी सोना खरीदने का सही वक्त है?