Maha Kumbh 2025: IITian बाबा की यह 2 भविष्यवाणियां हो गई थीं सच, खुद बताई पूरी बात
Maha Kumbh 2025: महाकुंभ में आए IITian बाबा इन दिनों चर्चा का विषय बने हुए हैं. उन्होंने दावा किया कि वो भविष्यवाणी करते हैं. उनकी दो भविष्यवाणियां सच भी हो चुकी हैं.

Maha Kumbh 2025: प्रयागराज में चल रहे महाकुंभ में देश के कोने-कोने से साधु संत आए हैं. कई बाबा काफी सुर्खियां बटोर रहे हैं. इन्हीं में एक IITian बाबा उर्फ अभय सिंह का नाम भी शामिल हैं. जिन्होंने आईआईटी मुंबई से एयरो स्पेस में इंजीनियरिंग की है. लेकिन लाखों की नौकरी छोड़कर अब वो पूरी तरह से अध्यात्म में डूब गए हैं. बाबा ने दावा किया कि उनकी कई भविष्यवाणियां सच हो चुकी हैं. इनमें से दो के बारे में तो उन्हों ख़ुद ही बताया है.
एबीपी न्यूज से बात करते हुए IITian बाबा ने अपनी भविष्यवाणियों का जिक्र किया और बताया कि उन्होंने ये दो भविष्यवाणियां क्रिक्रेट सूर्य कुमार यादव और शतरंज के वर्ल्ड चैंपियन डी गुकेश के लिए की थीं. उन्होंने कहा कि ऊपर जो महादेव बैठे हैं वो ये सब कराते हैं वो ही हमें दिशा दिखाते हैं और हम सब करते चले जाते हैं.
बाबा की दो भविष्यवाणियों हो गईं थी सही
IITian बाबा ने अपनी भविष्यवाणियों को लेकर कहा कि "मैं आपको कई चीजें बताऊंगा तो हो सकता है कि आपको अजीब लगे.. जैसे इंडिया का जब वर्ल्ड कप हो रहा था..टी-20 वाला, वन डे में तो मेरी सुना ही नहीं.. मैंने कहा कि सूर्य कुमार यादव.. इसे स्टार बनाते हैं इनकी सेंचुरी हो जाएगी, तो बीच में पड़ोसी डॉक्टर थे..उसने समय वहां ब्रेक कर दिया.
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बाबा ने इसी तरह शतरंज के वर्ल्ड चैंपियन डी गुकेश को लेकर कहा कि- "गुकेश का चेस वाला चैंपियनशिप हो रहा था. तो मैने देखा कि ये चाल अब ऐसे चल रही है...ऐसे-ऐसे करना है.. तो विज़ुअलाइज़र करने की टेक्निक है वो चल रहा है. उन्होंने कहा कि मैं ये सब अपनी समझ से नहीं करता.. नीचे से क्या पता चलता है. हमेशा चीजों का ज्ञान ऊपर से बैठकर होता. मैं तो नीचे संसार के अंदर हूं..महादेव हैं वो सबसे ऊपर हैं. वो सब देख रहे हैं. जैसे नैविगेशन चलता है कि इधर जाओ..उधर चलो.. जैसे जैसे वो बोलते जाते हैं वैसे-वैसे फॉलो करते जाओ बस.
बता दें कि IITian बाबा हरियाणा के रहने वाले हैं. उनका असली नाम अभय सिंह है. उन्होंने IIT मुंबई से इंजीनियरिंग की डिग्री ली है. जिसके बाद उन्हें बड़ी कंपनी में लाखों की नौकरी भी मिल गई थी. लेकिन उनका इन सब में मन नहीं लगा. उन्होंने कुछ समय के लिए फोटोग्राफी भी की, लेकिन उसमें भी ज्यादा दिन नहीं रहे और फिर उन्होंने सारी मोह माया त्यागकर अध्यात्म का मार्ग चुन लिया. उन्होंने बताया कि वो जीवन का अर्थ तलाशने के लिए इस ओर आए हैं.
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Source: IOCL





















