Lok Sabha Election: लोकसभा चुनाव (Loksabha Election) को लेकर सभी राजनीतिक दलों ने अभी से बिसात बिछाना शुरू दिया है. इस बार बीजेपी (BJP) की नजर यूपी पर टिकी है जहां से सबसे ज्यादा लोकसभा सीटें आती हैं. बीजेपी ने यूपी की सभी 80 सीटों पर फतह हासिल करने का लक्ष्य रखा हैं. ऐसे में बीजेपी की नजर उन सीटों पर टिकी हुई है जहां 2019 के चुनावों में पार्टी को शिकस्त का सामना करना पड़ा था. पिछली बार की तरह इस बार भी ये सीटें पार्टी के लिए सिरदर्द न बन जाएं, इसके लिए खास रणनीति तैयार की गई है. 


यूपी की हारी हुई 14 सीटों के लिए बीजेपी ने जो रणनीति तैयार की है उसके तहत पार्टी के वरिष्ठ नेता इन सीटों पर प्रवास करेंगे. इनमें कई केंद्रीय मंत्री समेत प्रदेश के मंत्रियों को भी जिम्मेदारी दी गई है. इन क्षेत्रों में खासतौर से लगातार कार्यक्रम किए जाएंगे और बीजेपी की नीति व रीति के बारे में मतदाताओं को बताया जाएगा. पार्टी के दिग्गज नेता इन हारी हुई सीटों पर अपनी कमजोरी और चुनौतियों का आंकलन करेंगे और उन पर काम करके पार्टी की स्थिति को मजबूत करने की कोशिश करेंगे.


80 में से 62 सीट पर जीती बीजेपी


लोकसभा चुनाव 2019 में बीजेपी को यूपी की 80 सीटों में से 62 सीटों पर जीत हासिल हुई है. दो सीटों पर उसकी सहयोगी अपना दल सोनेलाल ने जीत दर्ज की थी. इसके अलावा 16 सीटों पर बीजेपी को शिकस्त का सामना करना पड़ा था. इनमें से 10 सीटों पर बसपा, पांच सीटों पर समाजवादी पार्टी और एक सीट रायबरेली से कांग्रेस की सोनिया गांधी सांसद हैं. हालांकि बाद में रामपुर और आजमगढ़ लोकसभा सीट पर हुए उपचुनाव में बीजेपी ने जीत हासिल की, जिसके बाद अब 14 सीटें रह गई हैं जिन पर गैर बीजेपी के सांसद हैं.


2019 में इन सीटों पर हार गई थी बीजेपी


लोकसभा चुनाव 2019 में बीजेपी को 16 सीटों पर हार का सामना करना पड़ा था. ये सीटें थीं बिजनौर, अमरोहा, मुरादाबाद, संभल, रायबरेली, घोसी, लालगंज, जौनपुर, अंबेडकर नगर, गाजीपुर, श्रावस्ती, मैनपुरी, सहारनपुर, आजमगढ़, रामपुर और नगीना. 2019 में रामपुर सीट पर सपा के आजम खान और आजमगढ़ सीट से अखिलेश यादव ने जीत हासिल की थी. इन दोनों सीटों पर सपा का वर्चस्व माना जाता था लेकिन 2022 में हुए उपचुनाव में ये दोनों सीटें बीजेपी के खाते में चली गईं. हालांकि मैनपुरी उपचुनाव में सपा अध्यक्ष अखिलेश यादव की पत्नी डिंपल यादव परिवार की विरासत बचाने में सफल रहीं और सपा जीत गई.


ये भी पढ़ें-  UP Politics: नेहा सिंह राठौर के समर्थन में उतरे अखिलेश यादव, यूपी पुलिस के एक्शन का यूं दिया जवाब