UP Corruption News: उत्तर प्रदेश के जालौन (Jalaun) में गांव के लोगों को रोजगार देने के उद्देश्य से सरकार की ओर से महात्मा गांधी राष्ट्रीय ग्रामीण रोजगार गारंटी योजना (MGNREGA) चलाई जा रही है. जिले में इस योजना में भ्रष्टाचार का तड़का लग चुका है. पूरा मामला जालौन के खनुआ गांव का है, जहां के ग्रामीणों के खातों में बिना मजदूरी किए इस योजना का पैसा ट्रांसफर कर दिया गया. इसके बाद ग्राम प्रधान की ओर से खुद को 70 प्रतिशत कमीशन लेकर इस धनराशि को निकालने के लिए कहा गया. मामले की शिकायत ग्रामीणों में ग्राम विकास अधिकारी से की है.


खनुआ के ग्राम प्रधान की ओर से विकास कार्यों में जमकर फर्जीवाड़ा किया जा रहा है. कीचड़ से बजबजाती गलियां, दम तोड़ती सरकारी योजनाएं, यहां की पहचान बन चुकी हैं. गांव के ग्रामीणों की मानें तो गांव में बिना काम किए ही कई विकास कार्य किए जा चुके हैं जो कि धरातल पर हैं ही नहीं और उनका भुगतान ग्राम प्रधान की ओर से करा लिया गया.


लोगों को काम करने का अब तक नहीं मिला मौका 


ग्रामीणों का कहना है कि मनरेगा के तहत उनके जॉब कार्ड तो सालों पहले बन गए लेकिन उनको काम करने का मौका अब तक नहीं मिला. ग्राम प्रधान मशीनों से काम करा लेता है और उस काम का पैसा मनरेगा मजदूरों के खातों में आता है, जिसकी निकासी के एवज में प्रधान 70 प्रतिशत की धनराशि मजदूरों से मांगता है और 30 प्रतिशत मजदूरों को देता है. इसके अलावा गांव के कई फर्जी जॉब कार्ड बनाए गए हैं, जिनमें फर्जी कार्य दिखाकर प्रधान उनका पैसा खुद हड़प लेता है. वहीं इस मामले को लेकर खंड विकास अधिकारी प्रशांत कुमार का कहना है कि शिकायतकर्ता का वीडियो उनके संज्ञान में आया है. एक कमेटी गठित कर मामले की जांच की जाएगी.


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