बहराइच, एबीपी गंगा। यूं तो डॉक्टर को धरती का भगवान कहा गया है, लेकिन जब चंद पैसे के लालच में वही डॉक्टर हैवान बन जाए, तो आप क्या कहेंगे। कुछ ऐसा ही माजरा जनपद बहराइच के जिला अस्पताल में देखने को मिला है। जहां पर इलाज के बदले मांगे गए चंद पैसे ना मिलने पर डॉक्टर और स्टाफ नर्स ने बच्चे का समय से इलाज नहीं किया, जिसकी वजह से बच्ची की तड़प कर मौत हो गई।
बच्ची की मौत के बाद उसके परिजनों ने घंटों तक अस्पताल के भीतर जमकर हंगामा काटा। बच्ची के पिता का आरोप है कि सरकारी अस्पताल के भीतर इलाज और इंजेक्शन लगाने के नाम पर स्टाफ नर्स के द्वारा कई बार पैसों की मांग की गई। मजबूर गरीब पिता पैसा नहीं दे पाया, तो इलाज में लापरवाही बरती गई। जिसकी वजह से बच्ची की मौत हो गई। बच्ची की मौत के बाद अस्पताल में घंटों अफरातफरी का माहौल बना रहा।
धरती के भगवान की बेरहमी
हरदी इलाके का रहने वाला पंकज पाल अपनी तीन महीने की बच्ची को इलाज के लिए जिला अस्पताल लेकर आया था। बच्ची को बुखार था। बच्ची अपनी मां का दूध नहीं पी पा रही थी । जिसकी वजह से पंकज ने उसे अस्पताल में भर्ती करवाय, उसका इलाज तो शुरू किया गया, लेकिन इलाज के एवज में स्टाफ नर्स द्वारा पैसे की मांग की गई। बच्ची के पिता का कहना है कि पहले दिन उसने पैसा भी दिया, लेकिन इसके बावजूद बच्ची के इलाज में लापरवाही बरती गई।
पंकज पाल का यह भी कहना है कि दूसरे दिन भी स्टाफ नर्स के द्वारा उससे 200 रुपये की मांग की गई और यह धमकी दी गई कि अगर पैसा नहीं देंगे, तो उसकी बच्ची को लखनऊ रेफर कर दिया जाएगा। गरीब पंकज पाल ने जब पैसा देने में असमर्थता जताई, तो उसकी बच्ची के इलाज में भारी लापरवाही बरती गई , जिसकी वजह से बच्ची की तड़प कर मौत हो गई।
पंकज पाल का यह भी कहना है कि जब उसने अपनी बच्ची के इलाज को लेकर डॉक्टर और स्टाफ नर्स से कहासुनी की, तो इस मामले को लेकर उसे मारा पीटा भी गया। हालांकि इस मामले की जानकारी मिलने के बाद मौके पर पहुंचे मुख्य चिकित्सा अधीक्षक डॉ डीके सिंह ने मामले में गंभीरता दिखाते हुए दोषी स्टाफ नर्स और डॉक्टर के खिलाफ कार्यवाही की बात कही है।