GRP Constable Murder Case: जौनपुर में अपर सत्र न्यायाधीश तृतीय की कोर्ट में पूर्व सासंद उमाकांत यादव को उम्रकैद की सजा सुनाई गई है. कोर्ट ने उनपर पांट लाख रुपये का जुर्माना भी लगाया है. पूर्व सासंद उमाकांत यादव जीआरपी सिपाही हत्याकांड में दोषी करार दिए गए थे. उनके अलवा 6 और लोग इस मामले में दोषी हैं. शनिवार को अपर सत्र न्यायाधीश ने उन्हें इस मामले दोषी करार दिया था. 

साल 1995 को 4 फरवरी को हुए जीआरपी सिपाही हत्याकांड को लेकर बसपा के पूर्व सांसद उमाकांत यादव समेत सात आरोपी दोषी करार हुए हैं. इस हत्याकांड में पूर्व सांसद उमाकांत यादव समेत सात लोग आरोपी बनाए गए थे.

ये था मामला

बता दें कि पूर्व सांसद उमाकांत यादव का ड्राइवर किसी रिश्तेदार को ट्रेन तक पहुंचाने गया था. इसी दौरान जीआरपी के सिपाही से उसकी अनबन हो गई. इस बात पर जीआरपी के सिपाही ने उमाकांत के ड्राइवर को थाने में बैठा लिया और यह बात जब उमाकांत यादव को पता चली तो वे दल बल के साथ शाहगंज जंक्शन पहुंच गए.

सात लोगों ने की ताबड़तोड़ फायरिंग

इस दौरान शाहगंज जंक्शन पर विवाद काफी बढ़ गया. फिर उमाकांत यादव सहित सात लोगों ने वहां ताबड़तोड़ फायरिंग शुरू कर दी, इस फायरिंग में एक सिपाही अजय सिंह की मौत हो गई. इसके अलावा कई लोग घायल भी हो गए, इस हत्याकांड के समय उमाकांत यादव खुटहन से बसपा विधायक थे. गौरतलब है कि शनिवार को अपर सत्र न्यायाधीश ने उमाकांत यादव को इस मामले दोषी करार दिया था. 

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