उत्तराखंड में मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी की सुरक्षा व्यवस्था में गुरूवार को हुई चूक को लेकर उत्तराखंड पुलिस ने कड़ा रुख अपनाया है. मुख्यमंत्री की सुरक्षा फ्लीट में तैनात एक वाहन में तकनीकी खराबी आने से सुरक्षा ड्यूटी में बाधा उत्पन्न हुई. यह घटना सुरक्षा के लिहाज से अत्यंत संवेदनशील मानी जा रही है, क्योंकि मुख्यमंत्री Z+ श्रेणी की सुरक्षा के अंतर्गत आते हैं. ऐसे में किसी भी स्तर की लापरवाही को गंभीरता से लिया गया है.

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घटना की जानकारी मिलते ही अपर पुलिस महानिदेशक (अभिसूचना एवं सुरक्षा) अभिनव कुमार ने तत्काल कार्रवाई के निर्देश जारी किए. प्रारंभिक तथ्यों के आधार पर सुरक्षा में हुई चूक के लिए उत्तरदायित्व तय करते हुए संबंधित कर्मी के खिलाफ तत्काल निलंबन की कार्रवाई की गई है. पुलिस अधिकारियों का कहना है कि अतिविशिष्ट व्यक्तियों की सुरक्षा में किसी भी प्रकार की कोताही स्वीकार्य नहीं है.

सात दिनों में जांच रिपोर्ट देने के निर्देश

ADG इंटेलिजेंस के निर्देशानुसार मुख्यमंत्री सुरक्षा के मुख्य सुरक्षा अधिकारी द्वारा प्रस्तुत रिपोर्ट के आधार पर पुलिस अधीक्षक (सुरक्षा) को सात दिनों के भीतर विस्तृत जांच कर रिपोर्ट सौंपने के आदेश दिए गए हैं. जांच के दौरान यह भी परखा जाएगा कि वाहन में तकनीकी खराबी किन कारणों से उत्पन्न हुई और क्या निर्धारित मानकों के अनुरूप समय-समय पर उसका निरीक्षण और रखरखाव किया गया था या नहीं.

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तैनात वाहनों की स्थिति चेक होगी अब

इसके साथ ही मुख्यमंत्री सुरक्षा और राजभवन सुरक्षा में तैनात सभी वाहनों की वर्तमान स्थिति का समग्र आकलन करने के निर्देश दिए गए हैं. पुलिस अधीक्षक (सुरक्षा) को सभी वाहनों का भौतिक और तकनीकी निरीक्षण कर विस्तृत रिपोर्ट प्रस्तुत करनी होगी. निरीक्षण रिपोर्ट के आधार पर जो वाहन सुरक्षा ड्यूटी के लिए अनुपयुक्त पाए जाएंगे, उन्हें तत्काल ड्यूटी से हटाया जाएगा.

पुलिस विभाग ने यह भी स्पष्ट किया है कि जिन वाहनों को हटाया जाएगा, उनके स्थान पर शीघ्र ही वैकल्पिक और पूरी तरह फिट वाहनों की व्यवस्था की जाएगी, ताकि भविष्य में इस तरह की स्थिति दोबारा उत्पन्न न हो. पूरे मामले की निगरानी उच्च स्तर पर की जा रही है. उत्तराखंड पुलिस ने दोहराया है कि मुख्यमंत्री सहित सभी अतिविशिष्ट व्यक्तियों की सुरक्षा सर्वोच्च प्राथमिकता है और सुरक्षा मानकों में किसी भी तरह की ढिलाई पर सख्त कार्रवाई जारी रहेगी.