Basti News: उत्तर प्रदेश की बस्ती जिला जेल ने एक अनोखी पहल की है. रक्षाबंधन के पर्व को देखते हुए जेल प्रशासन ने जेल में बंद महिलाएं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए हैंड मेड राखियां बनाने का काम सौंपा है. महिला कैदी जेल ने राखी बना रही हैं. इन हैंड मेड राखियों की कीमत बाजार में 100 से 200 रुपए रखी गई है. महिला कैदियों ने अब तक सैकड़ों राखियां बना ली हैं, जो रक्षा बंधन के त्यौहार पर बाजार में बेची जाएंगी. इन राखियों से मिलने वाले पैसे को महिला कैदियों के अकाउंट में भेजा जाएगा. बता दें कि केंद्र और प्रदेश सरकार महिलाओं को आत्मनिर्भर बनाने के लिए तमाम योजनाएं चला रही है, उसी के क्रम में जिला प्रशासन ने जेल में बंद महिला कैदियों को आत्मनिर्भर बनाने के लिए हैंड मेड राखी बनाने का प्रशिक्षण दिया है. जेल प्रशासन की इस पहले से जेल में बंद महिला कैदियों को भी रोजगार मिल गया है.
आपको बता दें हैंड मेड क्रोएशिया राखी एक प्राचीन और पारम्परिक हस्तशिल्प विधा का नमूना है, जो धीरे-धीरे बिलुप्ती होने के कगार पर आ गई है. इस विधा को फिर से जीवित करने के लिए जिला जेल में बंद महिला कैदियों को क्रोएशिया राखी बनाने का गुण सिखाया जा रहा है, जो आगामी रक्षाबंधन त्यौहार पर बाजारों में देखने को मिलेगी. इस राखी की ख़ास बात यह है कि इसे बनाने में समय और मेहनत भले ही लगती हो लेकिन यह पूरी तरह से पर्यावरण अनुकूल और टिकाऊ होती है. जेल में स्किल इण्डिया कार्यक्रम के अंतर्गत 50 साल के कम उम्र की महिलाओं को इसके लिए ट्रेनिंग दी जाती है.
कैदियों को दी जा रही है क्रोएशिया राखी बनाने की ट्रेनिंग
जेल प्रशासन की इस पहले के बारे में एक महिला कैदी सुनीता ने बताया कि हमें खुशी है कि जिला प्रशासन द्वारा हमें राखी बनाने का प्रशिक्षण दिया गया, इससे पहले मैंने कभी भी सुई धागा का काम नहीं किया था. उन्होंने कहा कि राखी बनाकर हम लोगों को बहुत अच्छा लग रहा है, मेरे साथ यहां 20 की संख्या में महिलाएं राखी बना रही हैं, इसके लिए मैं ज़िला प्रशासन को धन्यवाद देती हूं. इसके बारे में जिलाधिकारी प्रियंका निरंजन ने बताया कि शासन के निर्देशानुसार जिला जेल में बंद महिला कैदियों को बेसिक शिक्षा विभाग के टीचरों की सहायता से क्रोएशिया राखी बनाने की ट्रेनिंग दी जा रही है. आगामी रक्षाबंधन के तैयार में ये सभी राखियां बाजार में उपलब्ध होंगी, जिनकी कीमत 100 से 200 रुपए होगी.
ये भी पढ़ें: