इलाहबाद हाईकोर्ट परिसर से अधिवक्ता को पुलिस द्वारा हिरासत में लेने के मामले में न्यायालय सख्त हो गया. हाईकोर्ट ने एसपी फर्रुखाबाद पर कड़ी नाराजगी व्यक्त करते हुए एसपी को पुलिस द्वारा पकड़े गये अधिवक्ता को न्यायालय में पेश होने तक कोर्ट कक्ष ना छोड़ने के निर्देश दिए. दरअसल प्रीती यादव ने बंदी प्रत्याक्षिकरण याचिका हाई कोर्ट में दायर की थी, जिसकी सुनवाई न्याय मूर्ति जेजे मुनीर व न्याय मूर्ति संजीब कुमार की खंड पीठ ने की.

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इस सुनवाई के लिए अधिवक्ता अवधेश मिश्रा याची के साथ हाई कोर्ट आए थे, उन्हें एसओजी ने हाईकोर्ट के बाहर से हिरासत में ले लिया. दायर याचिका में याची प्रीती यादव ने कहा कि उनके पति अर्जुन सिंह यादव को फर्रुखाबाद पुलिस ने 8 सितम्बर को अबैध रूप से हिरासत में लिया और 14 सितम्बर रात 11 बजे छोड़ा. पुलिस ने एक कागज भी लिखवाया जिस पर लिखाया कि पुलिस उसे हिरासत में नहीं लिया.


इस मामले में हाईकोर्ट ने थानध्यक्ष कायमगंज अनुराग मिश्रा, सीओ कायमगंज व एसपी फर्रुखाबाद को न्याय में बाधा डालने के मामले में 14 अक्टूबर को पेश होने के आदेश दिये थे. अब इस मामले में बुधवार दोपहर 12 बजे एसपी को हलफनामा के साथ पुन: पेश होने के आदेश दिये हैं.


ये था पूरा मामला 


बीते 2 अगस्त को ग्राम दत्तू नगला निवासी मनोज यादव व ऋषभ यादव को लाठी-डंडो से मारपीटा गया था. जिसमें घायल मनोज कि मौत हो गई थी. मृतक मनोज के पिता विजय सिंह ने थाना शामसबाद के के मोहल्ला चौहटट्टा निवासी वीरेश व अंकुर, जिला एटा के फसरौली निवासी अनमोल, थाना कम्पिल के हकीकतपुर निवासी अमि, कायम गंज के सुभानपुर निवासी अरबाज व लालपुर निवासी हीरालाल के खिलाफ मुकदमा दर्ज कराया था. वही पोस्टमार्टम में मनोज कि मौत बीमारी से होने कि पुष्टि हुई थी. इसी मामले में पुलिस ने याचिका कर्ता प्रीती यादव के पति व राजा को बीते 8 सितम्बर को हिरासत में लिया और 14 सितम्बर को छोड़ा था. इसी मामले में कोर्ट ने एसपी आरती सिंह, सीओ कायमगंज व कोतवाल अनुराग मिश्रा को पेश होने के निर्देश दिए थे.