राजस्थान में पूर्व सीएम वसुंधरा राजे से जुड़े एक घटनाक्रम ने सूबे के सियासी माहौल को एक बार फिर से गरमा दिया है. वसुंधरा राजे के लिए लगे एक नारे को लेकर लोग खूब चर्चाएं हो रही हैं. लोग इसके सियासी मायने तलाश रहे हैं और साथ ही कयासबाजियों का दौर भी जारी है. वसुंधरा राजे के समर्थक उनकी मौजूदगी में सीएम की पसंद के तौर पर उनके पक्ष में नारेबाजी कर रहे हैं. 

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वसुंधरा राजे ने कार्यकर्ताओं को नारेबाजी करने से रोका नहीं. इतना ही नहीं उन्होंने कार्यकर्ताओं को टोकते हुए सही नारा लगाने को भी कहा. वसुंधरा राजे ने कार्यकर्ताओं से कहा कि उन्हें सीएम कैसा हो नहीं बल्कि सीएम कैसी हो का नारा लगाना चाहिए. वसुंधरा राजे द्वारा कही गई यह बात महज संयोग है या फिर कोई सियासी इशारा, इसे लेकर राजनीतिक गलियारों से लेकर सोशल मीडिया तक बहस हो रही है.


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वसुंधरा ने टोका और फिर कहा...


मामला बृहस्पतिवार 9 अक्टूबर को राजस्थान के चुरू जिले के रतनगढ़ कस्बे का है. पूर्व सीएम वसुंधरा राजे बीकानेर से होकर वापस लौट रही थी तो रतनगढ़ कस्बे में पार्टी कार्यकर्ताओं ने उनके काफिले को रोक कर स्वागत किया. कार्यकर्ताओं ने उन्हें माला पहनाई और फिर जिंदाबाद के नारे लगाने लगे. इस दौरान कई समर्थकों ने नारा लगाया कि - हमारा सीएम कैसा हो, वसुंधरा राजे जैसा हो. कुछ देर की नारेबाजी के बीच पूर्व सीएम वसुंधरा राजे ने नारा लगाने वाले कार्यकर्ताओं को टोका. उन्होंने कहा कि हमारा सीएम कैसा हो की जगह कैसी हो का नारा होना चाहिए.


इस दौरान वसुंधरा राजे ने सीएम वाले नारे को लेकर कार्यकर्ताओं को एक भी बार रोका नहीं. आमतौर पर इस तरह के नारे चुनाव से पहले लगते हैं. चुनाव से पहले समर्थक अपने नेता के पक्ष में लॉबिंग करने, विपक्षी पार्टियों पर दबाव बनाने और पार्टी हाईकमान तक अपनी मंशा पहुंचाने को लेकर ऐसी नारेबाजी करते हैं. राजस्थान में विधानसभा के चुनाव होने में अभी 3 साल से ज्यादा का वक्त है. बीजेपी के ही भजन लाल शर्मा सीएम हैं.


ऐसे में वसुंधरा राजे की मौजूदगी में उनके नाम को लेकर कार्यकर्ताओं की सीएम पसंद वाली नारेबाजी और राष्ट्रीय उपाध्यक्ष व पूर्व सीएम राजे मैडम की सही नारे लगाने की सलाह ने तमाम सवाल खड़े कर दिए हैं. अब पता नहीं वसुंधरा राजे अपने कार्यकर्ताओं व समर्थकों की ग्रामर सही करा रही थी या फिर राजस्थान के लोगों को कोई मैसेज देना चाहती थी. बहरहाल इसे लेकर जितने मुंह, उतने तरह की बातें हो रही हैं.