Janmashtami 2022: श्रीकृष्ण पूर्णपुरुषोत्तम अकारण करुणावरुणालय हैं. गीतोपदेश द्वारा उन्होंने अर्जुन का पूरा जीवन सार्थक बना दिया. उनकी पांडवों पर विशेष कृपा थी और पांडवों से उनकी कई विषयों पर चर्चा होती ही रहती थी. युधिष्ठिर एक आदर्श पुत्र और भाई होने के साथ ही प्रजा के और राज्य के भी बहुत बड़े हितचिंतक थे. श्री कृष्ण से उनकी स्नेहिल निकटता थी. 


एक बार युधिष्ठिर ने श्रीकृष्ण से राज्य में हरेक व्यक्ति के जीवन और घर में पूर्ण सुख, शांति और समृद्धि हेतु प्रश्न किया? कृष्ण भगवान ने कहा कि अब द्वापर युग है और इसके बाद सबसे अधिक पाप से युक्त कलयुग आएगा और मनुष्य अपनी स्वार्थसिद्धि के वशीभूत होकर पापकर्मों में रत रहेगा, सद्व्यवहार और पुण्य का लोप कलयुग में चरम पर होगा ऐसी भयावह स्थिति में द्वापर युग और कलयुग दोनों में ही मनुष्य के जीवन को परम सुखी बनाने हेतु श्री कृष्ण ने अपने मुखारविंद से उस समय एक उपदेश दिया कि हे धर्मराज युधिष्ठिर जो भी मनुष्य अपने घर में मेरी बताई इन पांच वस्तुओं को रखेगा उन्हें जीवन में कभी कोई कठिनाई नहीं आएगी और निरंतर उसके घर और जीवन में सुख, शांति और समृद्धि में वृद्धि ही होगी.


देशी गाय का घी
श्रीकृष्ण के अनुसार देशी घी घर में रखने से खाने पीने की वस्तुओं में कभी भी कमी नहीं आती और घर में इसे रखने से शुद्ध वातावरण भी बना रहता है. देशी गाय का घी हालांकि आजकल मिलना कठिन है तो मजबूरन बाजार से ही लोग घी मंगवाते हैं, फिर भी कुछ प्रयास करके देशी गाय का शुद्ध दूध लाकर घर में भी आप शगुन रुपी देशी घी बना कर रख ले. इस घी से प्रतिदिन पूजा स्थान में दीपक करने से जीवन में कष्ट नहीं आते हैं और अगर कष्ट या विपत्ति आ भी जाए तो शीघ्र ही दूर हो जाती है. इस घी का सेवन भी अतिलाभदायक है. देशी घी से किया गया हवन वातावरण में पॉजिटिव एनर्जी को बढ़ाता है.  


चन्दन
श्रीकृष्ण ने जो दूसरी वस्तु संसार के सभी लोगों को अपने घर में रखने के लिए बताई वो थी चन्दन. घर में लकड़ी रूप में असली चन्दन रखना अत्यधिक लाभदायक और सुखसमृद्धि दायक है. चन्दन के वृक्ष पर सांप के लिपटे रहने से भी कोई प्रभाव नहीं पड़ता है, तो ऐसा चन्दन घर में रखकर हर प्रकार की नकारात्मक ऊर्जा को दूर किया जा  सकता है. इस शुद्ध चन्दन का प्रयोग हमेशा पूजा में भी करना चाहिए और इससे अपने माथे पर तिलक भी करें. प्रोफेश्नल लोग ऑफिस में अगर तिलक लगा कर न जाना चाहें तो वे ईश्वर की पूजा करने के बाद उस चन्दन को थोड़ा सा अपने ललाट पर मल भी सकते हैं. इससे आप पॉजिटिव एनर्जी से युक्त रहेंगे और सफलता प्राप्ति में आने वाली बढ़ाएं स्वतः ही दूर होती चली जाएंगी. 


जल
श्री कृष्णा ने बताया कि जल देवता पंचमहाभूतों में से एक है और इसके बिना तो जीवन की कल्पना भी असंभव है. जल जीवन में धनागम में वृद्धि करता है. पूजाघर में जल अवश्य रखना चाहिए और अपने घर के ईशान कोण में और रसोईघर के ईशान कोण में जलस्थान रखें. अपने घर में आने वाले अमीर-गरीब, छोटे-बड़े हरेक व्यक्ति को जल अवश्य पिलायें. आज कल के परिप्रेक्ष्य में बाथरूम में भी पानी के बर्तन को हर समय भरकर रखना भी हितकर है.  


वीणा
सद्बुद्धि, विद्या और ज्ञान की देवी माता सरस्वती द्वारा धारित वीणा हर घर में होनी चाहिए. वीणा को घर में रखने से अज्ञान, अविद्या और दरिद्रता दूर हो जाते है. बड़ी या छोटी पर वास्तविक वीणा का घर में होना अतिशुभ बताया गया है.


शहद
पांचवीं वस्तु श्रीकृष्ण ने जो बताई वो थी शहद. शहद का सेवन मनुष्य की आत्मा और शरीर दोनो शुद्ध होते हैं. शहद रखने घर का वातावरण शुद्ध होता है और वित्त सम्बन्धी लाभ होते हैं, आर्थिक घाटे की संभावना कम होती है.


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