India Pakistan Conflict: भारत-पाकिस्तान के बीच सीज फायर यानी युद्ध विराम होने के 2 दिन बाद अब राजस्थान के सीमावर्ती इलाकों से सटे हुए जिलों में हालात धीरे-धीरे कर सामान्य होने लगे हैं और जिंदगी पटरी पर लौटने लगी है. बॉर्डर से सटे हुए जैसलमेर में सुबह 6 बजे ब्लैकआउट खत्म होने के बाद लोग एक बार फिर से सड़कों पर निकल आए हैं. दुकानें भी खुल गई हैं और बाजार में चहल-पहल भी ज्यादा नजर आ रही है. 

हालांकि, सरकार और प्रशासन के साथ ही आम नागरिक भी अभी पूरी तरह सावधानी बरत रहे हैं. लोगों का मानना है कि पाकिस्तान भरोसे के लायक नहीं है और वह कभी भी कोई नापाक हरकत कर सकता है. ऐसे में सावधानी बेहद जरूरी है. पूरी तरह शांति होने की वजह से लोग अब राहत महसूस कर रहे हैं. 

DGMO लेवल की बैठक के नतीजे का इंतजार 

जैसलमेर और बाड़मेर समेत राजस्थान के कई जिलों में स्कूल कॉलेज और कोचिंग संस्थान अभी भी बंद है. लगातार जारी ब्लैक आउट का आदेश भी वापस नहीं हुआ है. सड़कें और बाजार अभी पूरी तरह से गुलजार नहीं है और पहले जैसी रौनक भी नजर नहीं आ रही है.

पर्यटकों की आवाजाही भी अभी ना के बराबर ही है. सीजफायर होने के बावजूद लोग राशन दवाएं और पेट्रोल डीजल का स्टॉक कर लेना चाहते हैं. लोगों का मानना है कि युद्ध विराम के बावजूद खतरा अभी पूरी तरह से टला नहीं है.

जैसलमेर के लोगों को होने वाली भारत-पाकिस्तान के DGMO लेवल की बैठक के नतीजे का इंतजार है. लोगों को उम्मीद है कि यह बैठक सकारात्मक होगी और पाकिस्तान युद्ध विराम के फैसले पर कायम रहेगा और उसका उल्लंघन नहीं करेगा. जैसलमेर और बाड़मेर में आभी भी एहतियातन ब्लैकआउट रहने की उम्मीद है.

ब्लैक आउट का समय कुछ कम जरूर किया जा सकता है. प्रशासन ने निवासियों से सतर्क रहने और सुरक्षा सलाह का पालन करने की अपील की है.