Divya Maderna: राजस्थान की भजनलाल सरकार लगातार हर वर्ग को सौगातें दे रही है. इसी के साथ ही बकाया वसूली को लेकर भी सख्त नजर आ रही है. अब किसानों के बकाया बिजली बिल की वसूली के लिए विद्युत विभाग ने कार्रवाई शुरू कर दी है. बकायेदार किसानों के बिल भुगतान नहीं करने पर किसानों के बिजली कनेक्शन और ट्रांसफार्मर हटाने की कार्रवाई की जा रही है. इस कार्रवाई को लेकर एक वीडियो भी सामने आया है. इस पर ओसियां पूर्व विधायक दिव्या मदेरणा ने राजस्थान सरकार पर जमकर हमला बोला दिया है. दिव्या मदेरणा ने वीडियो ट्वीट किया है.
ओसिया से पूर्व विधायक दिव्या मदेरणा ने कहा कि पूर्व में जब हमारी कांग्रेस की सरकार थी. एक दिन भी हमारे क्षेत्र में विजिलेंस की कार्रवाई नहीं हुई. तब एक भी बीजेपी कांग्रेस या अन्य दल की विचारधारा के किसान का कनेक्शन काटा गया.
पूर्व विधायक ने कहा कि विद्युत विभाग ने बिजली के बिलों के बकाये की वसूली के लिए हमारी सरकार के सामने भी कहा था. लेकिन हमने कहा था कि आप किसानों से ही वसूली क्यों करना चाहते हैं. जोधपुर शहर में कई इंडस्ट्रीज बैठे हैं. जिनके लाखों रुपए का बकाया है. उनसे वसूली कर लीजिए. उसके बाद भी आपकी पूर्ति नहीं होती है. तो आप ऐसे किसानों की लिस्ट बनाएं और उनसे संवाद कीजिए और किसान जैसा चाहते है.
बकाया किस्तों में देना तो उनकी किस्तों में आप वसूली कीजिए. उन्होंने कहा कि इस तरह से तानाशाही और दादागिरी पहली बार देखने को मिली है. जब एक लड़की अपने घर में अकेली थी. एक दिन बाद ही ट्रांसफर हटा लेते. घर पर कोई होता जब आ जाते. ऐसा क्या था कि अकेली लड़की को इस तरह से परेशान किया गया. विद्युत विभाग के कर्मचारी बोलोरो लेकर खड़ी फसल में चला रहे हैं. ऐसा तो कोई भी अपने दुश्मन के यहां पर नहीं करता है.
उन्होंने ट्वीट किया, ''ओसियां के किसानों का शोषण बंद करो!
भाजपा सरकार की तानाशाही चरम पर है. किसानों के खेतों से जबरन ट्रांसफॉर्मर उतारे जा रहे हैं. प्रशासन की संवेदनहीनता देखिए—एक अकेली लड़की के सामने 10 अधिकारी! क्या अधिकारियों में इतनी भी संवेदनशीलता नहीं थी कि वे अगले दिन आते, जब घर के अन्य सदस्य मौजूद होते?
इतना ही नहीं, उस लड़की पर सरकारी काम में बाधा डालने की FIR दर्ज कर दी गई और प्रशासनिक अधिकारियों ने उसके साथ धक्का-मुक्की तक की. यह सरासर अन्याय है!
किसानों की आर्थिक स्थिति पहले से ही संकट में है. कभी ओलावृष्टि, कभी सूखा, कभी फसल के सही दाम नहीं मिलते और ऊपर से महंगाई आसमान छू रही है. अब बिजली छीनकर सरकार उन्हें पूरी तरह बर्बाद करने पर तुली है.
किसान जो दिन-रात मेहनत कर धरती से सोना उगाते हैं, उनके आजीविका के साधन ऐसे जबरन छीन लेना कौन सा न्याय है?क्या सरकार ने सोचा है कि ये किसान अब खेती कैसे करेंगे? उनके घर कैसे चलेंगे? बच्चों की पढ़ाई की फीस कैसे भरी जाएगी?
पिछली कांग्रेस सरकार के दौरान बिजली बिल बकाया होने के बावजूद किसानों के साथ ऐसी नाइंसाफी कभी नहीं हुई. लेकिन आज भाजपा सरकार में किसानों को उनके हक से वंचित कर जबरन बिजली छीनने का काम किया जा रहा है. मैंने उस लड़की से फ़ोन पर बात की और इस मामले में उसे उचित न्याय मिले, इसके लिए हर संभव सहायता करूंगी. किसानों पर हो रहे इस अन्याय के खिलाफ हम चुप नहीं बैठेंगे.''
बता दें कि ओसियां विधानसभा क्षेत्र से बिजली ट्रांसफर हटाने पहुंचे विद्युत विभाग की कर्मचारियों के दो वीडियो सामने आए हैं.
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