Maharashtra NCP Political Crisis: महाराष्ट्र की राजनीति में भतीजे अजित पवार (Ajit Pawar) के विद्रोह से शरद पवार (Sharad Pawar) को बड़ा झटका लगा है. एनसीपी में बगावत की जंग अब पार्टी पर दावे तक पहुंच चुकी है. इसी कड़ी में अपने पहले प्रभावशाली कदम के रूप में शरद पवार ने जमीनी स्तर के कार्यकर्ताओं तक पहुंच बनाने के लिए एनसीपी के युवा कार्यकर्ताओं के साथ एक मैराथन बैठक की है. इस बैठक में एनसीपी चीफ ने कार्यकर्ताओं को पार्टी की विचारधारा का पाठ पढ़ाया, जिसमें बीजेपी की "विभाजनकारी राजनीति" का विरोध करने पर जोर दिया गया.


जितेंद्र आव्हाड ने जारी किया नोटिस
एनसीपी पर कब्जे की जंग नए स्तर पर पहुंचती दिख रही है. शरद पवार गुट के मुख्य सचेतक जितेंद्र आव्हाड ने अजित पवार गुट के साथ गए 12 विधायकों को कारण बताओ नोटिस जारी किया है. आव्हाड ने इन सभी विधायकों से 48 घंटे में जवाब मांगा है. दरअसल, ये सभी 12 विधायक शरद पवार की बैठक में नहीं आए थे. वे अजित पवार कैंप में दिखे थे. इससे पहले जितेंद्र आव्हाड ने अजित पवार के साथ मंत्रीपद की शपथ लेने वाले 8 विधायकों की सदस्यता खत्म करने की अर्जी महाराष्ट्र विधानसभा के अध्यक्ष राहुल नार्वेकर को दी थी.


कौन-कौन से 12 विधायकों को भेजा गया नोटिस?
जिन 12 विधायकों को नोटिस भेजा गया है उनमें सुनील शेल्के, दिलीप बनकर, नितिन पवार, दीपक चव्हाण, इंद्रनील नाइक, यशवंत माने, शेखर निकम, राजू कारेमोरे, मनोहर चंद्रिकापुरे, संग्राम जगताप, राजेश पाटिल और माणिकराव कोकाटे शामिल हैं. सभी 12 लोग अजित पवार के शपथ ग्रहण समारोह में शामिल हुए थे. शरद पवार समूह ने पहले ही अजित सहित नौ विधायकों के खिलाफ अयोग्यता की कार्यवाही शुरू कर दी है, जिन्होंने 2 जुलाई को मंत्री पद की शपथ ली थी.


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