Maharashtra Latest News: महाराष्ट्र पुलिस ने गुड़ी पड़वा के दिन मालेगांव में पूर्व बीजेपी सांसद और मालेगांव बम विस्फोट की मुख्य आरोपी साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर की उपस्थिति में आयोजित होने वाले एक बड़े हिंदू संतों के समागम को अनुमति देने से इनकार कर दिया है. पुलिस ने कानून व्यवस्था का हवाला देते यह फैसला लिया. हालांकि, आयोजकों का कहना है कि यह कार्यक्रम किसी भी परिस्थिति में आयोजित किया जाएगा.

पुलिस द्वारा कार्यक्रम की अनुमति देने से इनकार करने के बाद आयोजकों ने हाई कोर्ट का दरवाजा खटखटाने का फैसला किया है. मालेगांव में आयोजित होने वाले हिंदू संत सम्मेलन में साध्वी प्रज्ञा सिंह को हिंदू वीर पुरस्कार से सम्मानित किया जाना है. आयोजकों ने दावा किया है कि साधु-संतों ने सम्मेलन का निमंत्रण स्वीकार कर लिया है, लेकिन अब हिंदू संतों के मौजूदगी पर सवालिया निशान खड़ा हो गया है.

सपा ने दी चेतावनीएबीपी माझा के अनुसार, चूंकि मालेगांव बम विस्फोट मामला कोर्ट में विचाराधीन है. ऐसे में पीड़ितों के वकीलों ने विशेष एनआईए अदालत में साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर की उपस्थिति पर आपत्ति जताई है. बता दें साध्वी मालेगांव 2008 बम विस्फोटों की मुख्य आरोपी हैं. यह बम विस्फोट रमजान के महीने में किया गया था. वहीं समाजवादी पार्टी ने चेतावनी दी है कि मालेगांव में यह सभा रमजान के मौसम में हो रही है, इसलिए साध्वी को किसी भी हालत में शहर में प्रवेश नहीं करने दिया जाएगा. 

जानाकारी के अनुसार, नागपुर दंगों और आगामी त्योहारों और समारोहों को देखते हुए पुलिस ने इस सभा की अनुमति देने से इनकार कर दिया है. वहीं आयोजक अनुमति न दिए जाने के खिलाफ हाई कोर्ट में अपील करने की तैयारी कर रहे हैं. साथ ही आयोजकों का रुख यह भी है कि सम्मेलन किसी भी हालत में आयोजित होगा.

2008 में मालेगांव में हुआ था बम विस्फोटबता दें 29 सितम्बर 2008 को मालेगांव की एक मस्जिद में बम विस्फोट हुआ था. इसमें सात लोगों की जान चली गई थी, कई लोग घायल भी हुए थे. इस मामले में लेफ्टिनेंट कर्नल प्रसाद पुरोहित, साध्वी प्रज्ञा सिंह ठाकुर, रमेश उपाध्याय, समीर कुलकर्णी, सुधाकर चतुर्वेदी, सुधाकर द्विवेदी और अजय राहिरकर को गिरफ्तार किया गया था. महाराष्ट्र आतंकवाद निरोधक दस्ता (एटीएस) इस मामले की जांच कर रहा था. हालांकि, बाद में जांच एनआईए को सौंप दी गई.