Madhya Pradesh News: मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान के गृह जिले सीहोर के ग्राम बडी मुंगावली में ढाई साल की बच्ची बोरवेल में गिर गई. मौके पर रेस्क्यू टीम पहुंच चुकी है. सीहोर कलेक्टर प्रवीण सिंह, एसपी मयंक अवस्थी सहित जिला प्रशासन का अमला मौके पर मौजूद हैं. बच्ची का नाम सृष्टि कुशवाहा बताया जा रहा है. बताया जा रहा है कि जिस बोरवेल में मासूम गिरी है वो 300 फीट का है और बच्ची 50 फीट पर फंसी है. 


वहीं मुख्यमंत्री चौहान ने सीहोर में बच्ची के बोरवेल में गिरने की घटना का संज्ञान लिया है. प्रशासन को निर्देश दिए हैं कि बच्ची को निकालने के समुचित प्रयास किए जाएं. प्रशासन घटना स्थल पर हैं और बच्ची को निकालने के काम में जुटे हुए हैं. मुख्यमंत्री कार्यालय के अधिकारी सीहोर जिला प्रशासन से संपर्क में है.


जानकारी के अनुसार सीहोर जिला मुख्यालय के नजदीकी ग्राम बड़ी मुंगावली में गोपाल कुशवाह के खेत में खुला पड़े बोर में ढाई वर्षीय बालिका सृष्टि पिता राहुल कुशवाह गिर गई है. बताया जा रहा है राहुल कुशवाह के पड़ोस में ही गोपाल कुशवाह का खेत है. दो महीने गोपाल कुशवाह ने अपने खेत में बोर खनन कराया था, लेकिन पानी नहीं निकलने पर गोपाल कुशवाह ने बोल यूं ही खुला छोड़ दिया था. इस खुले बोर में ही आज राहुल कुशवाह की ढाई वर्षीय बालिका सृष्टि कुशवाह गिर गई है. 


मौके पर पहुंचे अफसर
बोर में बच्ची के गिरने की सूचना मिलते ही जिला मुख्यालय से कलेक्टर प्रवीण कुमार सिंह, पुलिस अधीक्षक मयंक अवस्थी सहित तमाम अफसर बड़ी मुंगावली गांव पहुंच गए हैं. बच्चे को बोर से सकुशल बाहर निकालने के लिए प्रयास जारी हैं.


लटेरी हादसे से नहीं लिया सबक
बता दें अब से तीन महीने पहले 14 मार्च को भी विदिशा जिले के लटेरी तहसील के आनंदपुर के पास खेरखड़ी पठान क्षेत्र में एक सात वर्षीय बालक 60 फीट गहरे बोर के गड्ढे में गिर गया था. बालक 43 फीट गहरे गड्ढे में फंस गया था. बालक लोकेश पिता दिनेश अहिरवार को सकुशल बाहर निकालने के भरपूर प्रयास किए गए, लेकिन बच्चे को बचाया नहीं जा सका था. बच्चा 25 घंटे तक इस बोरवेल में फंसा रहा था.


सदन में गूंज चुका है मामला
बता दें 14 मार्च को विदिशा जिले के लटेरी तहसील के आनंदपुर के पास खेरखड़ी पठान क्षेत्र में सात वर्षीय बालक लोकेश पिता दिनेश अहिरवार बोर के खुले गड्ढे में गिर गया था. बालक 25 घंटे तक बोरवेल में ही फंसा रहा था. बच्चे को बचाने के लिए रेस्क्यू चलाया गया था, लेकिन बच्चे को बचाया नहीं जा सका था. 


यह मामला मध्य प्रदेश के विधानसभा सत्र में भी गूंजा था. कांग्रेस विधायक विनय सक्सेना ने आरोप लगाते हुए कहा कि मप्र में घटित हो रही बोरवेल की घटनाओं के लिए म प्र शासन और प्रशासन ही जिम्मेदार है. सरकार की लापरवाही के चलते ही प्रदेश में इस प्रकार की घटनाएं बढ़ी है यदि समय रहते ही पूर्व की घटनाओं से सबक ले लिया जाता तो बच्चों के बोरवेल में गिरने की घटनाएं रोकी जा सकती थी, लेकिन इस प्रकार की घटनाओं से कोई सबक नहीं लिया जाता, बल्कि खानापूर्ति कर अगले घटना होने का इंतजार किया जाता है.


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