मध्य प्रदेश का इंदौर एक बार फिर देश का सबसे स्वच्छ शहर बनकर उभरा है. लगातार आठवीं बार इंदौर वासियों को साफ-सफाई के प्रति जिम्मेदार होने का खिताब मिला है. इस बार छत्तीसगढ़ का अंबिकापुर शहर भी इस श्रेणी में है.

भारत सरकार की ओर से जारी की गई 'स्वच्छ सर्वेक्षण 2024-25' की  सबसे स्वच्छ शहरों की लिस्ट में 'नेशनल' कैटेगरी में तीन शहर शामिल हैं. पहला है मध्य प्रदेश का इंदौर, दूसरा छत्तीसगढ़ का अंबिकापुर और तीसरा है कर्नाटक का मैसूर. इसके बाद सबसे स्वच्छ 'बड़े शहर' श्रेणी में गुजरात के अहमदाबाद को जगह मिली है. 

मध्य प्रदेश के लिए गर्व की बात, लिस्ट में और भी शहर 'सबसे स्वच्छ मध्यम शहर' भी मध्य प्रदेश में ही है. इस श्रेणी में उज्जैन ने बाजी मारी है. इसके अलावा, 'सबसे स्वच्छ छोटा शहर' का खिताब दिल्ली को मिला है. सबसे स्वच्छ राजधानी भी मध्य प्रदेश का भोपाल बताया जा रहा है. 'फास्टेस्ट मूवर बिग सिटी' का खिताब छत्तीसगढ़ के रायपुर को दिया गया है. वहीं, स्थानीय लोगों के फीडबैक के अनुसार, सबसे अच्छा शहर महाराष्ट्र का 'नवी मुंबई' बताया जा रहा है. 

गदगद हुए कैलाश विजयवर्गीयइंदौर के बीजेपी विधायक कैलाश विजयवगर्यी ने खुशी जताते हुए एक्स पर लिखा, "सुपर स्वच्छ इंदौर, यह एक अलग दौर. आज नई दिल्ली में महामहिम राष्ट्रपति द्रौपदी मुर्मू से स्वच्छता सर्वेक्षण 2024 के तहत पुरस्कार प्राप्त कर स्वयं को गौरवान्वित महसूस कर रहा हूं. इंदौर को लगातार आठवीं बार देश के सबसे स्वच्छ शहर का पुरस्कार प्राप्त हुआ है. इसी के साथ मध्य प्रदेश को अन्य श्रेणी में भी अवॉर्ड प्राप्त हुए हैं. सभी नागरिकों एवं निकायों को हार्दिक बधाई एवं शुभकामनाएं."

इंदौर के मेयर ने लोगों को दी बधाईइंदौर शहर के लोग एक बार फिर से जश्न के माहौल में डूब गए हैं. मेयर पुष्यमित्र भार्गव ने वीडियो शेयर कर इंदौरवासियों को बधाई दी है. उन्होंने कहा कि इस बार के नतीजों में भी इंदौर ने पहला नंबर पाया है. इसी के साथ इंदौर स्वच्छता का मॉडल बन गया है. यह शहर अब दूसरों को स्वच्छता का पाठ पढ़ाएगा. 

इंदौर में क्या है खास?इंदौर लगातार आठवीं बार सबसे साफ-सुथरे शहर के रूप में सामने आया है. पिछले सात साल से लगातार यह क्लानेस्ट सिटी चुने जाने वाले इंदौर के लोग एक बार फिर से छाती फुलाए खड़े हैं. इंदौर साल 2017 से लगातार पहले स्थान पर बना हुआ है. इंदौर नगर निगम के और वहां के सफाईकर्मियों ने इसके लिए काफी मेहनत की है. आम लोग भी साफ-सफाई के प्रति बेहद जागरूक हैं.