Jabalpur Suicide Case:  मध्य प्रदेश के जबलपुर में एक छात्रा को उसके माता-पिता की तरफ से मोबाइल नहीं चलाने की बात को लेकर डांटना महंगा पड़ गया. छात्रा ने इस बात से नाराज होकर सुसाइड कर लिया. छात्रा की मौत के बाद पुलिस ने पंचनामा कार्रवाई कर शव का पोस्टमार्टम कराते हुए परिजनों को सौंप दिया. बीए प्रथम वर्ष की छात्रा के इस खौफनाक कदम से परिजन काफी दुखी हैं. क्यों कि उनकी लाडली अब इस दुनिया को छोड़कर जा चुकी है.

  


दरअसल, पूरा मामला जबलपुर जिले के बरगी का है, जहां सुभाष नगर में रहने वाली बीए प्रथम वर्ष की छात्रा को माता-पिता की तरफ से  दिन भर मोबाइल चलाने से रोकना इतना नागवार गुजरा कि उसने जहर खाकर आत्महत्या कर ली. अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक सूर्यकांत शर्मा के मुताबिक 20 फरवरी को मेडिकल अस्पताल में एक छात्रा की ईलाज के दौरान मौत हो गई थी. मेडिकल अस्पताल से मिली तहरीर के आधार पर जांच शुरू की गई.


पिता ने डांटा तो लाडली बेटी ने उठाया खौफनाक कदम 


इस दौरान पता चला कि बरगी के सुभाष नगर में रहने वाली बीए प्रथम वर्ष की छात्रा संजना रजक के प्रथम सेमेस्टर के एग्जाम चल रहे थे. एग्जाम को देखते हुए पिता शिव कुमार रजक ने बेटी को मोबाइल न चलाने की हिदायत दी. हालांकि, समझाने के बावजूद बेटी संजना सुबह से शाम तक मोबाइल में ही व्यस्त रहती थी. घटना से एक दिन शाम को जब पिता घर लौटे तो देखा कि संजना फिर से मोबाइल में व्यस्त थी. उसी वक्त मां ने आकर बताया कि संजना दिन भर से मोबाइल में ही व्यस्त है. इसी बात को लेकर पिता ने फिर से डांटा तो बेटी को माता-पिता की यह बात नागवार गुजरी.


12 घंटे इलाज के बाद तोड़ा दम


इसके बाद परिवार के सभी सदस्य सोने चले गए. दूसरे दिन सुबह जब संजना को उल्टियां होने लगी तो परिजन घबरा गए और उसे जबलपुर मेडिकल कॉलेज अस्पताल लेकर पहुंचे. पुलिस को दिए बयान में संजना ने बताया कि उसने चूहा मारने की दवाई खा ली है. करीब 12 घंटे तक चले उपचार के बाद संजना ने दम तोड़ दिया. सूचना पर पहुंची पुलिस ने पंचनामा कार्यवाही करते हुए पूरे मामले की जांच शुरू कर दी है. बहरहाल पुलिस परिजनों की तरफ से दिए गए कथन और अन्य कारणों की भी जांच कर रही है.


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