गुरुग्राम में बारिश के बाद जलभराव की समस्या को लेकर बीजेपी और कांग्रेस नेताओं के बीच तकरार तेज हो गई है. गोड्डा सांसद और बीजेपी नेता डॉ. निशिकांत दुबे ने सोशल मीडिया पर कांग्रेस पर निशाना साधा और गुरुग्राम की मौजूदा हालत के लिए पिछली सरकारों और बिल्डरों को जिम्मेदार ठहराया. वहीं कांग्रेस सांसद दीपेंद्र सिंह हुड्डा ने करारा पलटवार करते हुए पूछा कि अगर 11 साल से बीजेपी की ही सरकार है तो अब तक सुधार क्यों नहीं हुआ.

निशिकांत दुबे ने लगाए आरोप

डॉ. निशिकांत दुबे ने एक्स (पहले ट्विटर) पर लिखा, "बिना सरकारी प्लानिंग के यदि प्राइवेट बिल्डर्स कांग्रेस के साथ मिलकर भ्रष्टाचार का शहर बनाएँगे तो गुरुग्राम जैसा शहर ही बनेगा. सरकार क्या करेगी? उन बिल्डरों तथा तत्कालीन सरकार के अधिकारियों पर मुकदमा दर्ज कर कार्रवाई होनी चाहिए."

दुबे का इशारा साफ था कि कांग्रेस शासनकाल में बिना सोच-समझ के विकास हुआ, जिसमें बिल्डरों और अधिकारियों ने जमकर भ्रष्टाचार किया. उनका कहना है कि बिना सही योजना के गुरुग्राम जैसे बड़े शहर में समस्याएँ खड़ी होना तय था.

दीपेंद्र हुड्डा ने किया पलटवार

इस पर रोहतक से कांग्रेस सांसद दीपेंद्र सिंह हुड्डा ने तंज कसते हुए लिखा, "मेरे प्रिय भाई निशिकांत दुबे जी, 11 साल से बीजेपी की सरकार है, फिर भी गुरुग्राम क्यों डूबे जी?" हुड्डा ने सीधे तौर पर बीजेपी पर सवाल खड़े कर दिए कि अगर पिछली सरकारों की गलती भी मान ली जाए, तो इतने लंबे कार्यकाल में बीजेपी ने हालात सुधारने के लिए क्या कदम उठाए.

गुरुग्राम में हर साल बारिश के दौरान जलभराव और ट्रैफिक जाम की समस्या देखने को मिलती है. आईटी और कॉर्पोरेट हब कहे जाने वाले इस शहर में बुनियादी ढांचे की खामियाँ बार-बार उजागर होती हैं. स्थानीय लोग कहते हैं कि सड़कों पर घंटों जाम, गड्ढों में पानी और ड्रेनेज की समस्या आम हो गई है.

इस मुद्दे पर बीजेपी और कांग्रेस आमने-सामने आ गई है. निशिकांत दुबे जहां कांग्रेस के दौर के भ्रष्टाचार को जिम्मेदार ठहरा रहे हैं, वहीं दीपेंद्र हुड्डा बीजेपी से 11 साल के कामकाज का हिसाब मांग रहे हैं. साफ है कि गुरुग्राम के जलभराव की समस्या अब सिर्फ स्थानीय मुद्दा नहीं रही, बल्कि यह राजनीतिक बहस का हिस्सा बन गई है.