प्रदूषण से बेहाल दिल्ली में राजनीतिक बयानबाजी तेज होती जा रही है. आम आदमी पार्टी (आप) ने राजधानी की बिगड़ती वायु गुणवत्ता को लेकर सरकार पर निशाना साधा है. पार्टी के दिल्ली प्रदेश संयोजक सौरभ भारद्वाज ने आरोप लगाया कि सरकार प्रदूषण कम करने के बजाय एयर क्वालिटी इंडेक्स (एक्यूआई) के डेटा में हेराफेरी कर रही है और वास्तविक स्थिति छिपाने की कोशिश कर रही है.

Continues below advertisement

सौरभ भारद्वाज ने ये भी कहा कि दिल्ली के लोग साफ हवा के लिए आवाज उठा रहे हैं, लेकिन प्रदर्शनकारियों पर पुलिस द्वारा लाठीचार्ज किया जा रहा है. उन्होंने आरोप लगाया कि सरकार आलोचना दबाने की नीयत से प्रदूषण पर बात करने वालों को निशाना बना रही है.

उन्होंने कहा कि शहर में हालात इतने खराब हैं कि लोग सोशल मीडिया और व्हाट्सऐप ग्रुप पर भी प्रदूषण पर चर्चा करने से डरने लगे हैं, क्योंकि उन्हें आशंका है कि सरकार उनके खिलाफ कार्रवाई कर सकती है. उन्होंने कहा कि डॉक्टरों के अनुसार इस वर्ष अस्थमा, ब्रोंकाइटिस और सांस संबंधी बीमारियों के मरीजों की संख्या अस्पतालों में तेजी से बढ़ी है. इसके बावजूद सरकार के पास प्रदूषण से निपटने के लिए कोई ठोस योजना नहीं है.

Continues below advertisement

दिल्ली सरकार को आप का सुझाव

आम आदमी पार्टी ने सुझाव दिया कि दिल्ली के प्रदूषण को कम करने के लिए केंद्र सरकार को उत्तर भारत के सभी राज्यों दिल्ली, हरियाणा, पंजाब, राजस्थान, और उत्तर प्रदेश को एक साथ बैठाकर समाधान तलाशना चाहिए. पार्टी ने कहा कि जब दिल्ली में थर्मल पावर प्लांट बंद किए जा सकते हैं, तो पड़ोसी राज्यों में ऐसा क्यों नहीं किया जा रहा है.

'आप' के विधायक कुलदीप कुमार ने कहा कि पिछले नौ महीनों में प्रदूषण नियंत्रण के नाम पर एक भी सार्थक कदम नहीं उठाया गया. उनका दावा है कि सड़कों की खराब स्थिति, धूल और निर्माण सामग्री के अनियंत्रित प्रसार ने वायु गुणवत्ता को और खराब कर दिया है, जबकि सरकार इन मुद्दों पर चुप्पी साधे हुए है.

कुलदीप कुमार ने कहा कि जब दिल्ली में 'आप' की सरकार थी, तब ओड-ईवन योजना, रेड लाइट ऑन—इंजन ऑफ कैम्पेन और क्लीन दिल्ली जैसे अभियानों के माध्यम से लगातार प्रयास किए जाते थे, लेकिन वर्तमान सरकार न सिर्फ इन पहलों को रोक चुकी है बल्कि अब यह दावा कर रही है कि दिल्ली में प्रदूषण है ही नहीं.