Delhi Election Result: "हमें तो अपनों ने लूटा, गैरों में कहां दम था, मेरी कश्ती थी डूबी वहां जहां पानी कम था..."  दिल्ली में विधानसभा चुनाव के जो रुझान और नतीजे सामने आ रहे हैं, उनमें आम आदमी पार्टी के नेता भी कुछ यही कह रहे होंगे. अपनों के लूटने की बात तो यहां साबित नहीं हो सकती है, लेकिन कश्ती डूबने वाली बात को जरूर समझा जा सकता है. जिसमें कुछ लोग ये समझ रहे हैं कि यमुना के गंदे पानी में आम आदमी पार्टी की कश्ती डूबी है, वहीं कुछ लोग अरविंद केजरीवाल औ बाकी बड़े नेताओं के जेल जाने को हार का कारण बता रहे हैं. ऐसे में हम आपको बताते हैं कि आखिर केजरीवाल की कश्ती कहां डूब गई...

यमुना में जहर का मुद्दादिल्ली में अरविंद केजरीवाल ने जनता से कई बड़े वादे किए थे, जिनमें उन्होंने ये भी कहा था कि वो दिल्ली में बहने वाली यमुना नदी का कायाकल्प कर देंगे. यमुना में मौजूद गंदगी और जहरीले केमिकल को खत्म करने का वादा किया गया था. हालांकि अपने दो कार्यकाल में केजरीवाल यमुना को साफ नहीं कर पाए और यही वजह है कि बीजेपी ने यमुना के पानी को लेकर आम आदमी पार्टी सरकार को जमकर घेरा. 

जहरीले पानी पर घिर गए केजरीवालअरविंद केजरीवाल ने हरियाणा सरकार पर यमुना में जहर फैलाने का आरोप लगाकर इस डैमेज को कंट्रोल करने की कोशिश जरूर की थी, लेकिन हरियाणा के सीएम नायब सिंह सैनी ने इसी पानी का आचमन करके केजरीवाल को करारा जवाब दिया. वहीं पीएम मोदी ने भी कहा कि वो भी इसी पानी को पीते हैं. हालांकि केजरीवाल पहले से ही हर इंटरव्यू में इस मुद्दे पर बैकफुट पर रहे और खुद भी यही कहते आए कि वो यमुना के पानी को साफ नहीं कर पाए, अगले कार्यकाल में इसे जरूर पूरा किया जाएगा. कुल मिलाकर यमुना के मुद्दे पर आम आदमी पार्टी और केजरीवाल खूब घिरते नजर आए. 

कट्टर ईमानदार इमेज पर भ्रष्टाचार का डेंटअब दूसरे मुद्दे की बात करें तो ये दिल्ली के सीएम रहे अरविंद केजरीवाल की कट्टर इमेज पर लगा भ्रष्टाचार का डेंट है. दिल्ली में एक्साइज पॉलिसी लागू होने के बाद से ही आम आदमी पार्टी के तमाम नेताओं पर गिरफ्तारी की तलवार लटकनी शुरू हो गई. आरोप लगा कि सैकड़ों करोड़ का शराब घोटाला हुआ है. आम आदमी पार्टी के नेता और मंत्री सत्येंद्र जैन, मनीष सिसोदिया, अमानतुल्ला खान, संजय सिंह और खुद अरविंद केजरीवाल की गिरफ्तारी हुई और इन्हें महीनों तक जेल में रहना पड़ा. 

बीजेपी ने इस मामले को लेकर कई प्रेस कॉन्फ्रेंस कीं और लोगों को बताया कि जिसे वो कट्टर ईमानदार समझ रहे थे, वो करप्शन के मामले में जेल गए हैं. आम आदमी पार्टी के नेताओं ने जेल से आने के बाद इसे बीजेपी की साजिश बताया और कहा कि एजेंसियां एक भी सबूत कोर्ट में पेश नहीं कर पाई हैं. हालांकि इस मामले में भी बीजेपी नेता ही अपनी बात लोगों तक पहुंचाने में ज्यादा सफल रहे. 

एमसीडी की सत्ता से नुकसानदिल्ली में जो रुझान और नतीजे सामने आ रहे हैं, उन्हें देखकर यही लग रहा है कि इस बार आम आदमी पार्टी सत्ता से बाहर हो सकती है. ऐसे में लोग इसे एमसीडी से भी जोड़कर देख रहे हैं, दिल्ली एमसीडी में आम आदमी पार्टी सत्ता में है, ऐसे में एक कनेक्शन ये भी है कि जिस पार्टी की सरकार एमसीडी में बनती है वो चुनाव में हार का सामना करती है. यही चीज इस चुनाव में भी देखने को मिल सकती है. 

MCD की पावर ने किया बैकफायर?दिल्ली में साफ सफाई, सीवर और बाकी मुद्दों को लेकर अरविंद केजरीवाल पिछले कई सालों से बीजेपी को घेरते आए थे, उनका कहना था कि एमसीडी के तमाम काम बीजेपी नेता नहीं करते हैं और करोड़ों रुपये का भ्रष्टाचार होता है. हालांकि एमसीडी में जीतने के बाद यही गेंद उनके पाले में आकर गिर गई, अब उनसे लोग कूड़ा हटाने, सीवर की सफाई और गलियों की मरम्मत जैसी चीजों को लेकर सवाल करने लगे. अब चुनाव में भी आम आदमी पार्टी के नेता इस मुद्दे पर थोड़े बैकफुट पर रहे, यानी आम आदमी की कश्ती में थोड़ा पानी एमसीडी ने भी जरूर डाला है.

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