Delhi News: केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड (CBSE) पर आरोप लगाया गया कि उसने 10वीं के क्षेत्रीय भाषा के विषयों की लिस्ट से पंजाबी भाषा को हटा दिया है. इस मुद्दे पर आम आदमी पार्टी, कांग्रेस और शिरोमणि अकाली दल (SAD) ने आपत्ति जताई और सरकार से इस पर सफाई देने की मांग की. इसके बाद पंजाबी भाषा हटाने के आरोप पर सीबीएसई ने स्पष्टीकरण दिया है. जिसके बाद अब दिल्ली सरकार के मंत्री मंजिंदर सिंह सिरसा ने 'आप' पर पलटवार किया है.
दिल्ली सरकार के मंत्री मंजिंदर सिंह सिरसा ने कहा कि सीबीएसई ने साफ कर दिया है कि विषयों में कोई बदलाव नहीं किया गया है. बोर्ड की वेबसाइट पर दी गई लिस्ट सिर्फ उदाहरण के तौर पर हैं, सभी मौजूदा विषय जारी रहेंगे और पंजाबी भाषा की परीक्षा भी होगी. उन्होंने कहा, "बोर्ड की दोनों-परीक्षा प्रणाली में कोई बदलाव नहीं किया गया है. इसके बावजूद पंजाब के आप नेता इस पर गलत जानकारी फैला रहे हैं और छात्रों में भ्रम पैदा कर रहे हैं. छात्रों को गुमराह करना बंद करें और शिक्षा के साथ राजनीति न करें."
CBSE ने क्या कहा?केंद्रीय माध्यमिक शिक्षा बोर्ड ने यह भी स्पष्ट किया है कि साल में दो बार 10वीं बोर्ड एग्जाम सिस्टम से पंजाबी भाषा को नहीं हटाया जाएगा. सीबीएसई ने स्पष्ट किया है कि हाल ही में जारी मसौदा नीति से पंजाबी (कोड 004) के अलावा 10वीं की बोर्ड परीक्षाओं के लिए वर्तमान में पेश किए जाने वाले विषयों में कोई बदलाव नहीं किया गया है. सीबीएसई के परीक्षा नियंत्रक संयम भारद्वाज ने कहा कि यह लिस्ट सांकेतिक है.
उन्होंने इस बात पर जोर दिया कि छात्रों के लिए वर्तमान में उपलब्ध सभी विषय दो-बोर्ड परीक्षा प्रणाली में जारी रहेंगे. यह स्पष्टीकरण उस आलोचना के जवाब में आया, जिसके बाद नवीनतम मसौदा नीति में सूचीबद्ध दूसरी भाषाओं में पंजाबी का उल्लेख नहीं किया गया, जबकि अन्य क्षेत्रीय भाषाओं को शामिल किया गया. नए नियमों के अनुसार, छात्र एक बार या दोनों बार परीक्षा का विकल्प चुन सकेंगे. पहली परीक्षा 17 फरवरी से 6 मार्च के बीच और दूसरी परीक्षा 5 मई से 20 मई के बीच आयोजित की जाएगी.