Prime Ministers Museum And Library Society: केंद्र की बीजेपी (BJP) सरकार ने सरकार ने शुक्रवार (16 जून) को दिल्ली (Delhi) के तीन मूर्ति भवन परिसर स्थित नेहरू स्मारक संग्रहालय और पुस्तकालय ((NMML) का नाम बदल दिया. नेहरू स्मारक संग्रहालय और पुस्तकालय सोसायटी का नाम बदलकर अब इसका नाम 'प्रधानमंत्री संग्रहालय और पुस्तकालय सोसाइटी’कर दिया गया है. बीजेपी सरकार की ओर से  नेहरू स्मारक संग्रहालय और पुस्तकालय सोसायटी का नाम बदले जाने पर सियासत भी तेज हो गई है.


नेहरू स्मारक संग्रहालय और पुस्तकालय सोसायटी का नाम बदले जाने पर छत्तीसगढ़ (Chhattisgarh) के मुख्यमंत्री भूपेश बघेल (Bhupesh Baghel) ने केंद्र की बीजेपी सरकार को निशाने पर लिया है. उन्होंने बीजेपी पर निशाना साधते हुए कहा "वे (BJP) कुछ नया खोल लेते, नया खोलने में कोई समस्या है? उन्हें गांधी-नेहरू परिवार से समस्या है. उन्होंने राहुल गांधी (Rahul Gandhi) का संसदीय दर्जा छीन लिया, उन्होंने उनका बंगला छीन लिया. अगर वह एक सामान्य व्यक्ति के रूप में अमेरिका जाते हैं और कुछ कहते हैं, तो पूरी बीजेपी बयान देना शुरू कर देती है". इससे पहले इस ममाले को लेकर कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे (Mallikarjun Kharge) ने भी तीखी प्रतिक्रिया दी है.






मल्लिकार्जुन खरगे ने भी बीजेपी को घेरा
कांग्रेस अध्यक्ष मल्लिकार्जुन खरगे ने ट्वीट करते हुए कहा कि, जिनका कोई इतिहास ही नहीं है, वो दूसरों के इतिहास को मिटाने चले हैं. नेहरू मेमोरियल म्यूजियम और लाइब्रेरी का नाम बदलने के कुत्सित प्रयास से, आधुनिक भारत के शिल्पकार व लोकतंत्र के निर्भीक प्रहरी, पंडित जवाहरलाल नेहरू की शख्सियत को कम नहीं किया जा सकता. इससे केवल बीजेपी-आरएसएस की ओछी मानसिकता और तानाशाही रवैये का परिचय मिलता है. मोदी सरकार की बौनी सोच, 'हिन्द के जवाहर' का भारत के प्रति विशालकाय योगदान कम नहीं कर सकती.


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