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छत्तीसगढ़ वक्फ बोर्ड का बड़ा आदेश, प्रदेश के हर मस्जिद-दरगाह में फहराना होगा तिरंगा
Chhattisgarh News: छत्तीसगढ़ राज्य वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष सलीम राज ने कहा कि मस्जिदों, दरगाहों, इमामबाड़ों, खानकाहों के मुख्य द्वार पर या मस्जिदों के सामने झंडा फहराना अनिवार्य किया गया है.

स्वतंत्रता दिवस से पहले छत्तीसगढ़ की विष्णुदेव सरकार ने बड़ा आदेश जारी किया है. इसके मुताबिक छत्तीसगढ़ की सभी मस्जिदों, दरगाहों और इमामबारगाहों समेत मुस्लिम धार्मिक स्थलों पर भी ध्वजारोहण अनिवार्य करना होगा.
छत्तीसगढ़ राज्य वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष सलीम राज ने कहा, "मस्जिदों, दरगाहों, इमामबाड़ों, खानकाहों के मुख्य द्वार पर या मस्जिदों के सामने झंडा फहराना अनिवार्य हो गया है क्योंकि भारतीय मुसलमान तिरंगे का सम्मान करते हैं."
#WATCH | Raipur, Chhattisgarh: State Waqf Board Chairman Salim Raj says, "Hoisting the flag at the main entrance of Mosques, Dargahs, Imambaras, Khanqahs, or in front of Mosques has become mandatory because Indian Muslims respect Tiranga... The flag hoisting will be performed by… pic.twitter.com/0HzDZBMZJ9
— ANI MP/CG/Rajasthan (@ANI_MP_CG_RJ) August 12, 2025
हर मस्जिद के इमाम को फहराना होगा तिरंगा
उन्होंने आगे कहा, "झंडा फहराने का काम हर मस्जिद के इमाम और मस्जिद समिति द्वारा किया जाएगा. उन्हें हमारे पोर्टल के माध्यम से इस कार्यक्रम की तस्वीरें भी भेजनी होंगी."
'आपसी भाईचारे का दें परिचय'
मस्जिदों, दरगाहों और मदरसों के मुतवल्लियों को लिखे पत्र में बोर्ड ने कहा, ''इस वर्ष 15 अगस्त 2025 को हमारा 78 वां स्वतंत्रता दिवस मनाया जाएगा. इस राष्ट्रीय पर्व के पावन अवसर पर छत्तीसगढ़ राज्य में स्थित सभी मस्जिद, मदरसा, दरगाह के मुख्य द्वार पर राष्ट्रीय ध्वज का फहराया जाए. स्वतंत्रता दिवस के महत्व को समझे और देशभक्ति, आपसी एकता एवं भाईचारे का परिचय देते हुए इस अवसर की गरिमा बनाए रखें.''
'तिरंगा हमारे मान का प्रतीक'
डॉ राज ने बातचीत के दौरान कहा कि तिरंगा हमारे मान और अभिमान का प्रतीक है. उन्होंने कहा कि कुछ मस्जिदों और मदरसों में ध्वजारोहण समारोह नहीं होते. राज ने कहा कि तिरंगे का सम्मान हर धर्म से ऊपर है और इसे फहराने पर किसी को कोई आपत्ति नहीं होनी चाहिए, इसलिए आदेश जारी करना जरूरी था.
'हो जाएगा जगजाहिर'
उन्होंने कहा कि ध्वजारोहण इमाम, मुतवल्ली या मस्जिद समिति के सदस्यों की उपस्थिति में किया जाना चाहिए. डॉ राज ने कहा, "जो तिरंगा और देश से प्यार नहीं करता है, उसे भारत माता की धरती पर रहने का अधिकार नहीं है. इससे जगजाहिर हो जाएगा कि कट्टरपंथी सोच अलग हैं और वतन से प्यार करने वाली सोच अलग है."
Source: IOCL
























