पटना: बिहार में सरकारी स्कूलों की छुट्टियों की कटौती के फैसले को अब वापस ले लिया गया है. छुट्टी की कटौती को लेकर मचे बवाल के बीच वापस लिए गए आदेश पर आरजेडी नेता शिवानंद तिवारी (Shivanand Tiwari) ने मंगलवार (5 सितंबर) को इस पर कहा कि यह तो सरकार का फैसला है. सरकार को लगा होगा कि पुनर्विचार करने की जरूरत है तो उन्होंने किया है. इस दौरान शिवानंद तिवारी ने छुट्टियों को लेकर विरोध करने वालों पर सवाल भी उठाए.


शिवानंद तिवारी ने कहा कि उन छुट्टियों में विश्वकर्मा पूजा भी है, विश्वकर्मा हमारे धर्म में महान इंजीनियर माने जाते हैं, लेकिन उसके लिए स्कूल की पढ़ाई एक दिन बंद करने का क्या तर्क है? अब जन्माष्टमी में बच्चे तो उपवास करते नहीं हैं, 1-2 शिक्षक करते होंगे तो उन्हें छुट्टी दें, बच्चों की पढ़ाई के दिन में कटौती का समर्थन वही आदमी कर सकता है जिसे बच्चों की पढ़ाई से कोई मतलब नहीं हो.



विचार करें कि सही है या गलत: शिवानंद तिवारी


आरजेडी नेता शिवानंद तिवारी ने कहा कि सवाल ये है कि सबकी इच्छा यही है कि जो कटौती की गई है वो खत्म किया जाए तो उसको कर दिया गया. हालांकि इस पर विचार करने की जरूरत है, उन अभिभावकों को विचार करने की जरूरत है जो चाहते हैं कि स्कूल में बच्चे जाते हैं वो बेहतर ढंग से पढ़ाई करें. नियमित ढंग से पढ़ाई हो. उनको भी इस मामले में विचार करना चाहिए कि सही है या गलत है.


बता दें कि 28 अगस्त से 31 दिसंबर तक सरकारी विद्यालयों में लगभग 23 छुट्टियां थीं, जिसे घटाकर शिक्षा विभाग ने 11 कर दिया था. शिक्षक लगातार इस फैसले का विरोध कर रहे थे. शिक्षक संघ ने केके पाठक पर आरोप लगाया था कि उन्हें हिंदू धर्म की जानकारी नहीं है. अब फैसले को वापस लिए जाने के बाद आरजेडी नेता शिवानंद तिवारी ने प्रतिक्रिया दी है.


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