बक्सर: जिले की डुमरांव पुलिस को एक बड़ी सफलता हाथ लगी है. चार फर्जी सीआईडी अधिकारियों (Fake CID Officer) को डुमरांव डीएसपी ने गिरफ्तार लिया है. शहर में गश्ती के दौरान स्कॉर्पियो गाड़ी पर सीआईडी का बोर्ड, हूटर और लोगो लगाकर घूम रहे चार लोगों पर डीएसपी अफाख अख्तर अंसारी (Buxar DSP) की नजर पड़ी. उन्होंने उस वाहन का पीछा करते हुए अन्य गश्ती टीम को इसकी सूचना दी. उन्हें डुमरांव ब्लॉक के पास पकड़ लिया. पहले तो वाहन सवार लोगों ने पुलिस पर अपना धौंस दिखाने की कोशिश की. डीएसपी को उनकी वेशभूषा (Crime News) देखकर शंका हुई. तलाशी के दौरान गाड़ी में एक रायफल, सात जिंदा कारतूस, गडासा बरामद हुआ है.


मामला शुक्रवार (1 दिसंबर) का है. जानकारी के अनुसार वाहन में सवार चार फर्जी अधिकारियों के गिरफ्तार होने के बाद कई सफेदपोश सांसद और विधायक उन्हें छुड़ाने के लिए पूरी रात थाने से लेकर अधिकारियों की फोन की घण्टी बजाते रहे. वहीं डीएसपी अंसारी ने किसी की एक न सुनी. दूसरे दिन मीडिया को इसकी जानकारी दी. आरोप है कि कार सवारों का रोहतास के खनन माफिया, शराब माफिया, कोल माफिया, और पत्थर माफिया से तार जुड़ा हुआ है. डुमरांव डीएसपी अफाख अख्तर अंसारी ने बताया, 'हम गश्ती पर निकले थे. उसी दौरान हमें इन वाहन सवार लोगों पर शक हुआ और अन्य टीमों को इसकी सूचना देते हुए इनका पीछा किया गया, जिन्हें पकड़ लिया गया.'


शीशे और बोनट पर लगा था CID का लोगो


उन्होंने बताया, 'गश्ती के दौरान BR 03P 6866 नंबर की उजले रंग की स्कॉर्पियो गाड़ी डुमरांव मार्केट से निकलकर स्टेशन की तरफ जा रही थी. गस्ती को अलर्ट करते हुए गाड़ी को चेक किया गया तो सामने से शीशे और बोनट पर सीआईडी का बोर्ड लगा हुआ था. गाड़ी में चार लोग बैठे हुए थे. एक आर्म्स भी था. साथ में 7 गोली थी और एक भुजाली था. पूछताछ के दौरान उनके पास से हथियार का लाइसेंस नहीं पाया गया. इसलिए उन पर विधिवत कार्रवाई की गई. जिन पर कार्रवाई की गई है उनका नाम संजय सिंह, रंजन कुमार, सुरेंद्र कुमार, वीरेंद्र कुमार है. ये सभी दावत थाना क्षेत्र के रामनगर सकरी जिला रोहतास के रहने वाले हैं. पूछताछ के दौरान इन लोगों ने स्पष्ट जवाब नहीं दिया.'


बिना लाइसेंस के लिए थे हथियार


डीएसपी अफाख अख्तर अंसारी ने बताया, 'यह लोग बिना लाइसेंस के हथियार लिए हुए थे. देखने से ऐसा लगा कि किसी अवैध गतिविधि में शामिल थे. जो जांच के बाद पता चलेगा. इसके पहले भी इस तरह की कार्रवाई की गई है.' उन्होंने सख्त लहजे में संदेश दिया कि ऐसा कोई भी व्यक्ति जो अधिकृत नहीं है वह इस तरह के कार्य न करे. अगर पुलिस के संज्ञान में आएगा तो कार्रवाई जरूर होगी. बता दें कि इससे पहले भी डुमराव एसडीपीओ ने फर्जी बोर्ड लगाकर घूम रहे कई रसुखदारों का वाहन जब्त कर पैदल ही उन्हें थाने लाकर हवालात में बंद करने का काम किया था.


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