रवि शास्त्री ने सालों पहले एक बात कही थी, जो आज भी सोशल मीडिया पर मीम के रूप में दिख ही जाती है. उन्होंने 2018 के दक्षिण अफ्रीकी टूर पर पार्थिव पटेल का मनोबल बढ़ाने के लिए कहा था कि 'रबाड़ा का कबाड़ा कर दे.' दूरदर्शन पर प्रसारित एक शो के दौरान पार्थिव पटेल ने उस किस्से की पूरी कहानी बयां की है. जोहानिसबर्ग में खेला गया वो मैच पार्थिव पटेल के इंटरनेशनल करियर का आखिरी मैच रहा था. पटेल, 2020 में क्रिकेट के खेल से अलविदा ले चुके हैं.

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रबाड़ा का कबाड़ा कर दे...

उन दिनों रवि शास्त्री टीम इंडिया के कोच हुआ करते थे. सीरीज के पहले दोनों टेस्ट मैच दक्षिण अफ्रीका जीत चुकी थी. तीसरा मुकाबला जोहानिसबर्ग में खेला गया. पार्थिव पटेल ने बताया कि कोच रवि शास्त्री ने दूसरी पारी में उन्हें ओपनिंग करने के लिए भेजा था.

पार्थिव पटेल ने बताया, "रवि शास्त्री ने जोहानिसबर्ग टेस्ट की दूसरी पारी मुझे ओपनिंग करने के लिए भेजा. आमतौर पर कोच पिच को लेकर सलाह या फिर प्लेइंग कंडीशन के बारे में बताते हैं. मगर रवि शास्त्री ने मुझसे कहा, 'रबाड़ा का कबाड़ा कर दे.' वो ऐसा ही सोचते हैं. जरा सोचिए कि वो टीम के बाकी खिलाड़ियों में कितना जोश भरते होंगे और उन्हें प्रोत्साहित करते होंगे."

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उस मैच की पहली पारी में पार्थिव पटेल नंबर-6 पर बैटिंग करते हुए सिर्फ 2 रन बनाकर आउट हो गए थे. दूसरी पारी में पटेल, मुरली विजय के साथ ओपनिंग करने आए. वो इस बार 15 गेंद में 16 रन बना पाए. भारतीय टीम ने दूसरी पारी में 247 रन बनाए और पहली पारी में पिछड़ने के कारण उसने दक्षिण अफ्रीका को 241 रनों का लक्ष्य दिया. इसके जवाब में दक्षिण अफ्रीकी टीम की दूसरी पारी केवल 177 रनों पर सिमट गई और भारत 63 रनों से मैच जीता.

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