भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड ने आईपीएल स्पॉट फिक्सिंग से जुड़े मामले में क्रिकेटर अंकित चव्हाण को बड़ी राहत दी है. अंकित चव्हाण साल 2013 में आईपीएल के दौरान स्पॉट फिक्सिंग का दोषी पाए जाने की वजह से लाइफ बैन का सामना कर रहे हैं. लेकिन बीसीसीआई ने अब इस बैन को समाप्त कर दिया है. 


बीसीसीआई ने अंकित चव्हाण को जानकारी दी है कि उनके लाइफ बैन को कम करके सात साल कर दिया गया है. कोर्ट के आदेश के बाद बीसीसीआई ने अपने फैसले में बदलाव किया. अंकित चव्हाण पर लगा सात साल का बैन पिछले साल सितंबर में खत्म हो चुका है. 


चव्हाण ने कहा है कि बीसीसीआई का यह कदम उनके लिए बड़ी राहत है. अंकित चौहान ने कहा, ''मेरे ऊपर से बड़ा बोझ हट गया है. मैं ग्राउंड पर जाने के लिए और इंतजार नहीं कर सकता हूं. मैं बीसीसीआई और मुंबई क्रिकेट एसोसिएशन का शुक्रिया अदा करता हूं.''


श्रीसंत की हो चुकी है वापसी


चव्हाण का कहना है कि वह मुंबई की टीम में वापसी की पूरी कोशिश करेंगे. स्पिन गेंदबाज ने कहा, ''बैन हटने के बाद मैं ग्राउंड पर वापस जाऊंगा और खेलूंगा. मुंबई की टीम में वापसी हो या नहीं लेकिन मैं क्रिकेट खेलना जारी रखूंगा. मेरा काम क्रिकेट खेलना है और वापसी के लिए मैं हर संभव कोशिश करूंगा.''


अंकित चव्हाण को श्रीसंत और अजित चंदीला के साथ स्पॉट फिक्सिंग का दोषी पाया गया था. ये तीनों खिलाड़ी 2013 में राजस्थान रॉयल्स की ओर से आईपीएल खेल रहे थे. बीसीसीआई ने तीनों खिलाड़ियों पर लाइफ बैन लगा दिया था. लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने लाइफ बैन की सजा को घटाकर सात साल कर दिया था.


श्रीसंत सात साल का बैन खत्म होने के बाद पिछले साल ही क्रिकेट के मैदान पर वापसी कर चुके हैं. चव्हाण पिछले एक साल से बीसीसीआई के सामने बैन हटाने की अपील कर रहे थे.


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