60 साल हो गई मां की उम्र तो कौन-सा हेल्थ इंश्योरेंस सही? पॉलिसी खरीदने से पहले जरूर पढ़ें
60 उम्र वालों के लिए बने हेल्थ इंश्योरेंस प्लान ही चुनें. सामान्य प्लान उम्र के हिसाब से बढ़ते मेडिकल खर्च और बीमारियों को पूरी तरह कवर नहीं करते हैं. सीनियर सिटीजन प्लान में ऐसे फीचर्स होते हैं जो वृद्धावस्था में होने वाली स्वास्थ्य समस्याओं को ध्यान में रखते हैं.
बहुत से लोग डायबिटीज, ब्लड प्रेशर या हृदय संबंधी रोगों से पीड़ित होते हैं. इसलिए ऐसी पॉलिसी चुनें जिसमें ये पहले से मौजूद बीमारियां शामिल हों और वेटिंग पीरियड कम हो, जैसे 18 से 36 महीने, इससे जब भी जरूरत पड़े, इलाज तुरंत कवर होगा.
बढ़ती महंगाई और इलाज के बढ़ते खर्च को ध्यान में रखते हुए कम से कम 5–10 लाख का सम इंश्योर्ड लेना चाहिए. इससे बड़े अस्पताल खर्च, ICU खर्च और सर्जरी जैसी आपात स्थितियों में पैसा कम नहीं पड़ेगा.
पॉलिसी लेने से पहले यह जरूर जांच लें कि आपके शहर के बड़े अस्पताल उस इंश्योरेंस कंपनी के नेटवर्क में शामिल हों. कैशलेस सुविधा होने पर आपको जेब से पैसा नहीं निकालना पड़ता, और अस्पताल सीधे इंश्योरर से पैसा ले लेता है. यह सुविधा आपातकाल में बहुत मदद करती है.
हर साल क्लेम न करने पर पॉलिसी में नो-क्लेम बोनस (NCB) मिलता है. इससे सम इंश्योर्ड बढ़ता है. इसके अलावा, पॉलिसी में एम्बुलेंस चार्ज, डे-केयर ट्रीटमेंट, सालाना हेल्थ चेकअप, क्रिटिकल इलनेस कवर जैसी सुविधाएं भी देखनी चाहिए.
सीनियर सिटीजन हेल्थ इंश्योरेंस पॉलिसी के लिए भुगतान किए गए प्रीमियम पर आयकर अधिनियम की धारा 80D के तहत 50,000 तक टैक्स छूट मिल सकती है. यह भी एक बड़ा फायदा है, जिससे वित्तीय बोझ कम होता है.
भारत में कई भरोसेमंद कंपनियां सीनियर सिटीजन हेल्थ इंश्योरेंस देती हैं, जैसे HDFC ERGO , सीनियर सिटीजन के लिए, बड़ी सम इंश्योर्ड और नो-क्लेम बोनस का फायदा. Care Insurance , 60 से ज्यादा उम्र के लिए, लंबी रिन्यूएबिलिटी और आयुष कवर. New India Assurance, 60–80 साल के लिए विशेष पॉलिसी और प्री-एग्जिस्टिंग डिजीज कवरेज. Star Health, सीनियर सिटीजन के लिए कई ऑप्शन और सुविधाएं. इन कंपनियों की पॉलिसी में पहले से मौजूद बीमारियों का कवरेज, कैशलेस नेटवर्क, ICU और कमरे का खर्च, और क्रिटिकल इलनेस कवर जैसी सुविधाएं होती हैं.