की-बोर्ड में दोनों Enter बटन दाईं तरफ क्यों होते हैं? 99% लोग नहीं जानते, लेकिन दिलचस्प है इसका इतिहास
कीबोर्ड के पहले टाइपराइटर का इस्तेमाल किया जाता था. उस समय टाइपराइटरों में कैरिज रिटर्न के लिए केवल एक कुंजी थी. फिर जब कंप्यूटर का आविष्कार किया गया तो इसी डिजाइन को अपनाया गया और कीबोर्ड में केवल एक एंटर कुंजी जोड़ी गई.
समय के साथ जब कंप्यूटर का इस्तेमाल कई कामों में किया जाने लगा. काम में तेजी लाने के लिए दस्तावेज़ों, फाइलों और प्रोग्राम को जल्दी से नेविगेट करने की जरूरत थी. इसके लिए दूसरी एंटर कुंजी के विकास की आवश्यकता हुई, जिसे आज न्यूमेरिक की-पैड एंटर कुंजी के रूप में जाना जाता है.
न्यूमेरिक की-पैड एंटर को संख्यात्मक इनपुट के साथ इस्तेमाल करने के लिए डिजाइन किया गया है. इसका इस्तेमाल नम्बर लिखते समय या स्प्रेडशीट सॉफ़्टवेयर का इस्तेमाल करते समय और ऑनलाइन फॉर्म भरते समय डेटा की पुष्टि या सबमिट करने के लिए किया जाता है.
दूसरी ओर, मुख्य एंटर कुंजी, मुख्य कीबोर्ड पर होती है. इसका इस्तमेका कमांड को एक्जीक्यूट करने के लिए किया जाता है. टाइपिंग करते समय भी इसी कुंजी का इस्तेमाल होता है.
कीबोर्ड पर दो एंटर कुंजियां होना कोई दुर्घटना नहीं है. यह एक सोचा समझा डिजाइन है, जिसे कंप्यूटर यूजर्स की जरूरत के हिसाब से बनाया गया है. कीबोर्ड के एक ही तरफ दोनों कुंजियों का होना भ्रम पैदा कर सकता है, लेकिन कुंजियां अलग-अलग काम के लिए ही बनाई गई हैं.