घर को लोहे जैसा मजबूत कैसे बनाती है सीमेंट, आखिर इसमें ऐसा क्या मिलाया जाता है?
सीमेंट मुख्य रूप से चूना पत्थर, मिट्टी और गिल्स से बनाया जाता है. इन सामग्रियों को उच्च तापमान पर पका कर क्लिंकर बनाया जाता है और फिर इसे बारीक पाउडर में पीसकर पोर्टलैंड सीमेंट तैयार किया जाता है.
जब यह पाउडर पानी के साथ मिलाया जाता है, तो इसके अणु रासायनिक प्रतिक्रिया के दौरान हाइड्रेशन प्रक्रिया से मजबूत जाल बनाते हैं. यही जाल दीवारों और नींव को दबाव और भारी वजन सहने की शक्ति देता है.
सीमेंट में समय-समय पर कुछ विशेष एडिटिव्स और फ्लाई ऐश भी मिलाए जाते हैं. फ्लाई ऐश को कोयले की बिजली उत्पादन इकाइयों से प्राप्त किया जाता है और यह सीमेंट को और अधिक टिकाऊ, फटने से मुक्त और पर्यावरण के अनुकूल बनाता है.
इसके अलावा पॉलीमर एडिटिव्स और अन्य रसायन सीमेंट की पकड़ और लचीलापन बढ़ाने में मदद करते हैं. इन सामग्रियों के मेल से ही दीवारें लंबे समय तक मौसम, बारिश और भूकंप जैसी प्राकृतिक परिस्थितियों का सामना कर सकती हैं.
सीमेंट की ताकत केवल उसके अंदर की रासायनिक संरचना से ही नहीं आती, बल्कि निर्माण की तकनीक और सही मिश्रण से भी यह फौलाद जैसी मजबूती पाती है.
उदाहरण के लिए देखें तो उचित मात्रा में रेत और बजरी मिलाकर बनाया गया सीमेंट का मसाला न केवल मजबूत होता है, बल्कि पानी और हवा की नमी से भी लम्बे समय तक सुरक्षित रहता है.
आज के आधुनिक निर्माणों में पोर्टलैंड सीमेंट, पोर्टलैंड पोजोलाना सीमेंट और पोर्टलैंड स्लैग सीमेंट जैसे विभिन्न प्रकार उपलब्ध हैं, जो अलग-अलग तरह की मजबूती और विशेषताएं प्रदान करते हैं.