मधुमक्खियों की कितनी मेहनत से तैयार होता है एक चम्मच शहद
कई मधुमक्खियां मिलकर एक चम्मच शहद का निर्माण करती हैं, ये शहद बनाने में उन्हें कई कठिनाइयों का सामना करना पड़ता है. तो चलिए आज जानते हैं किस तरह मधुमक्खियां बनाती हैं शहद.
मधुमक्खियों को शहद बनाने के लिए विशेष प्रकार के फूलों का चयन करना होता है वो यूं हीं किसी फूल को नहीं चुन लेतीं, बल्कि वो फूलों को बहुत देखभाल कर और सावधानी से चुनती हैं. वहीं शहद बनाने के लिए छत्ते में रहने वाली मधुमक्खियों की जिम्मेदारी बटी होती है. कोई मधुमक्खि रस बनाने के लिए पोलन जमा करती है तो कोई रस और वहीं मधुमक्खियों का एक ग्रुप पानी जमा करता है.
फिर जब मधुमक्खि फूलों पर बैठकर अपनी जीभ से उसका रस चूसती है तो वो रस उसके पेट की शहद वाली पेटी में जमा होता है. जिसे हनी स्टमक के नाम से जाना जाता है. ये हनी स्टमक मधुमक्खि के पेट में खाने वाले हिस्से से अलग होता है.
मधुमक्खियां फूल से दो तरह का खाना एकत्रित करती हैं. पहला नेक्टर यानी फूलों का रस, जो फूल के बीच वाले हिस्से से जमा किया जाता है. वहीं दूसरा है पोलन, जिसमें भरपूर मात्रा में प्रोटीन होता है. इसी से मधुमक्खि के बच्चे फलते फूलते हैं. इसके अलावा मधुमक्खियां शहद बनाने के लिए पानी का भी इस्तेमाल करती हैं.
इसके बाद 50 से 100 फूलों पर बैठकर अपनी पोटली में इकट्ठा किया रस एक मधुमक्खी छत्ते में जाकर कामगार मधुमक्खी के मुंह में जमा करती हैं. जिसके बाद वो कामगार मधुमक्खीयां देर तक चबाती हैं जिससे रस गाढ़ा हो जाता है. जिसके बाद वो इस रस को अपने छत्ते में जमा करती हैं. इसके बाद शहद में बची हुई नमी को वो अपने पंखों से हवा करके गाढ़ा करती हैं और फिर अपने छत्ते पर मोम बनाकर उसे पैक कर देती हैं. जिससे छत्ते में से वो रस निकले ना. इस तरह आपको जो शहद मिलता है उसे बनाने में मधुमक्खीयों की बहुत मेहनत शामिल होती है.