लखनऊ: यूपी के बीजेपी अध्यक्ष स्वतंत्र देव सिंह ने समाजवादी पार्टी के अध्यक्ष अखिलेश यादव पर आरोप लगाया कि वे आजम खान को सही ठहराने के लिए अपने पिता मुलायम सिंह यादव को ढाल के रूप में इस्तेमाल कर रहे हैं. उन्होंने मुलायम को सपा का सबसे वरिष्ठ नेता बताया और समाजवादी पार्टी व अखिलेश यादव पर निशाना साधा.

स्वतंत्र देव सिंह ने कहा कि लम्बे अरसे बाद जिस तरह से सपा कार्यालय में मुलायम की प्रेस वार्ता का आयोजन कर आजम का बचाव कराया गया, उससे साबित होता है कि अखिलेश सरकार में आजम ने अपने ओहदे का फायदा उठाते हुए तमाम घपलों और घोटालों को अंजाम दिया.

उन्होंने कहा कि अब हो रही जांचों में घपले-घोटाले सामने आ रहे हैं तो मुलायम को आगे रखकर खुद को बेगुनाह साबित करने की कोशिशें हो रही हैं, जबकि कुछ दिन पहले खुद अखिलेश ने अपनी प्रेसवार्ता में आजम द्वारा किये गए कब्जों को सही साबित करने के लिए कई तर्क दिये थे.

सिंह ने अखिलेश पर मुलायम की लगातार अनदेखी करने का आरोप लगाते हुए कहा," यह जगजाहिर है कि मुलायम द्वारा पुत्र मोह में अखिलेश को विरासत के रूप में प्रदेश के मुख्यमंत्री की कुर्सी सौंपी गई. बदले में अखिलेश ने अपने पिता को ही सपा प्रमुख के पद से न सिर्फ हटाया, बल्कि लगातार उनके आदेशों की अवहेलना की और कई बार सपा के भीतर ही मुलायम जैसे वरिष्ठ नेता को अपमान का सामना करना पड़ा. स्वयं मुलायम ने कई बार सार्वजनिक मंचों से अपना दर्द बयान किया."

यूपी बीजेपी अध्यक्ष ने आरोप लगाया कि अखिलेश सरकार के समय पूरे प्रदेश में जमीनों पर कब्जे कर सपा से जुडे़ लोगों ने इसे एक उद्योग का रूप दे दिया था. तत्कालीन सपा सरकार के संरक्षण में पूरे प्रदेश में बडे़ पैमाने पर सरकारी जमीनों के साथ-साथ कमजोर लोगों की जमीनों पर भी बडे़ पैमाने पर कब्जे हुए, जिनकी कई बार शिकायत होने के बावजूद कोई कार्रवाई नहीं हुई.

उन्होंने कहा, 'अब प्रदेश में योगी सरकार बनने के बाद ऐसी शिकायतों को संज्ञान में लेकर जब जांच शुरू हुई तो तमाम भूमाफिया जांच के घेरे में आने लगे, जिनके विरुद्ध नियमानुसार कार्रवाई हो रही है. रामपुर में आजम के खिलाफ कई ऐसे प्रकरणों में जांच के बाद कार्रवाई हो रही है तो अखिलेश भी बेचैन हो रहे हैं. जब कुछ गलत किया ही नहीं तो आजम खां डर क्यों रहे हैं.