नई दिल्ली: तीन तलाक बिल राज्यसभा से पास हो गया है. संसद के दोनों सदनों से बिल को मंजूरी मिल गई है. इससे पहले राज्यसभा में लंबी बहस चली. बहस के बाद बिल को सेलेक्ट कमेटी के पास भेजे जाने की मांग पर वोटिंग हुई. लेकिन सरकार को जीत मिली. बिल के पक्ष में 99 वोट पड़े और विरोध में 84 वोट पड़े हैं.

तीसरी बार में मोदी सरकार को यह बिल पास कराने में कामयाबी मिली है. अब राष्ट्रपति की मंजूरी के बाद यह कानून बन जाएगा. यह बिल 3 बार लोकसभा में पास हुआ, लेकिन 2 बार राज्यसभा में अटक गया. लेकिन मोदी सरकार इस बार यह बिल पास कराने में सफल रही. राष्‍ट्रपति के हस्‍ताक्षर के बाद यह बिल कानून का रूप लेगा.

तीन तलाक बिल में क्या है? इस विधेयक में तीन तलाक की प्रथा को शून्य और अवैध घोषित करने का और ऐसे मामलों में तीन साल तक के कारावास से और जुर्माने से दंडनीय अपराध और प्रथम श्रेणी न्यायिक मजिस्ट्रेट द्वारा विचारणीय अपराध घोषित करने का प्रस्ताव है. यह भी प्रस्ताव किया गया था कि विवाहित महिला और आश्रित बालकों को निर्वाह भत्ता प्रदान करने और साथ ही अवयस्क संतानों की अभिरक्षा के लिए भी उपबंध किया जाए. विधेयक अपराध को संज्ञेय और गैरजमानती बनाने का उपबंध भी करता था. इसमें मजिस्ट्रेट द्वारा जमानत देने की बात कही गई है.

राज्यसभा से तीन तलाक बिल पास, जानिए अब कानून बनने के बाद क्या सजा होगी

यह भी देखें