हैदराबाद में साइबर अपराध मामले में तेलंगाना साइबर पुलिस ने बड़ी सफलता हासिल की है. तेलंगाना साइबर सिक्योरिटी ब्यूरो ने अब तक साइबर फ्रॉड के शिकार पीड़ितों को उनके रुपयों को वापस लौटाया है. करीबन 350 करोड़ रुपये से ज्यादा की रकम रिकवर की गई है.
ब्यूरो के डायरेक्टर शिखा गोयल ने मंगलवार को बताया कि ब्यूरो बनने के बाद से अबतक 2.44 लाख नेशनल साइबरक्राइम रिपोर्टिंग पोर्टल शिकायतों को दर्ज किया गया है. करीबन 58,244 एफआईआर दर्ज की गई हैं. साथ ही साइबर धोखाधड़ी के पीड़ितों को 350 करोड़ रुपए से अधिक की रिकवरी की गई है.
पिछले कुछ सालों में देश में बढ़े साइबर क्राइम उन्होंने बताया कि पूरे देश में साइबर क्राइम के 29% की वृद्धि दर्ज की गई है. हालांकि, तेलंगाना में साइबर अपराध में कमी रिपोर्ट की गई है. साथ ही फाइनेंशियल लॉस में गिरावट दर्ज की गई है. देशभर में करीबन साइबर क्राइम के मामले 6 % रहे हैं.
शिखा गोयल की मानें तो सफलता में कई सुधार भरे कदमों को उठाया गया है, जिससे सकारात्मक सफलता मिली है. इनमें 1930 हेल्पलाइन को अपग्रेड किया गया है. पुट ऑन होल्ड को मजबूत किया गया है. हाईकोर्ट की मदद से मॉडल रिफंड सिस्टम को डेवलप किया गया है.
राज्यभर में शुरू की मुहिमशिखा गोयल ने यह सभी जानकारी ब्यूरो की तरफ से शुरू की गई फ्राउड का फुल स्टॉप नाम की मुहिम के शुभारंभ के अवसर पर दीं. उन्होंने कहा कि इसका उद्देश्य नागरिकों को डिजिटल सुरक्षा को बढ़ाने और साइबर फ्रॉड से बचने के उपायों के लिए जागरूक करना है. उन्होंने नागरिकों को दैनिक आदत में साइबर सुरक्षा को अपनाने की बात भी कही है.
तेलंगाना महानिदेशक क्या बोले? उनके अलावा तेलंगाना पुलिस के महानिदेश शिवाधर रेड्डी ने भी अपनी बात रखी. उन्होंने कहा कि साइबर क्राइम को प्रत्येक युनिट मुख्य पुलिसिंग प्राथमिकता के रूप में लिया जाना चाहिए. उन्होंने मुख्यमंत्री के निर्देशों का उल्लेख करते हुए सभी जिलों में ब्यूरो के साथ मजबूत समन्वय बनाए रखने और जागरूकता कार्यक्रमों को थानों, एसडीपीओ, और जिला स्तर तक लगातार चलाने के निर्देश दिए.
उन्होंने यह भी कहा कि लोगों को डिजिटल गिरफ्तारी, निवेश फ्रॉड, वेश बदलकर धोखाधड़ी, ओटीपी फ्रॉड, लोन ऐप उत्पीड़न और सोशल मीडिया ब्लैकमेलिंग जैसे प्रमुख साइबर अपराध तरीकों के बारे में जागरूक करना बेहद जरूरी है.