नई दिल्ली: दिल्ली के बॉर्डर पर किसानों के आंदोलन का आज 54वां दिन है. सरकार के साथ किसानों अगले दौर की वार्ता कल होनी है. इस बीच एक बड़ा सवाल खड़ा हो गयचा है कि क्या समय बीतने के साथ अब किसानों की एकता टूट रही है? किसानों के आंदोलन में विपक्ष का साथ लेने के मुद्दे पर संयुक्त किसान मोर्चा में फूट पड़ती नजर आ रही है. इस विवाद की शुरुआत हरियाणा के बड़े किसान नेता गुरनाम सिंह चढ़ूनी की तरफ़ से कल दिल्ली के कॉन्स्टीट्यूशन क्लब में बुलाई गई बैठक से हुई.


इसमें कांग्रेस नेता दिग्विजय सिंह और उदित राज समेत आम आदमी पार्टी और अकाली दल डेमोक्रेटिक के नेता भी शामिल हुए. चढ़ूनी पर आरोप है कि उन्होंने किसान आंदोलन में राजनीतिक दलों का समर्थन मांगा, इससे संयुक्त किसान मोर्चा नाराज़ है. संयुक्त किसान मोर्चा ने चढ़ूनी के ख़िलाफ़ अनुशासनात्मक कार्रवाई के लिए एक कमेटी बना दी है. सूत्रों के मुताबिक़ चढ़ूनी को संयुक्त किसान मोर्चा से सस्पेंड किया जा सकता है.


चढ़ूनी बोले- आरोप सिर्फ अफवाह, आरएसएस के एजेंट हैं कक्का जी
गुरनाम सिंह चढ़ूनी ने किसान आंदोलन में शामिल मध्य प्रदेश के किसान नेता शिव कुमार कक्का को आरएसएस का एजेंट बता दिया है. चढ़ूनी ने कहा, ''इस तरह की बातें अफवाह हैं, आंदोलन गैरराजनीतिक रहेगा. विपक्षी दलों के नेताओं को एक साथ 'जन-संसद' बुला कर आवाज उठाने के लिए संपर्क करने के लिए समाजसेवियों की एक कमिटी बनी जिसमें मुझे भी शामिल किया गया. नेताओं को भी अपनी भूमिका निभानी चाहिए. इससे आंदोलन को नुकसान नहीं होगा बल्कि फायदा होगा. अलग अलग मंचों से बात होगी तो सरकार पर दबाव बढ़ेगा.


उन्होंने कहा, ''संयुक्त किसान मोर्चा की कमिटी बुलाएगी तो जाऊंगा और अपनी बात रखूंगा. उन्होंने बिना बुलाए कार्रवाई कर दी. अगर कहेंगे तो मैं अपनी बात वापस ले लूंगा. लेकिन इस विवाद का आंदोलन पर कोई असर नहीं होगा. कुछ गलत लोग बीच में आ गए. मध्यप्रदेश के किसान नेता शिव कुमार उर्फ कक्का जी आरएसएस एजेंट हैं. ऐसे लोग फूट डालना चाहते हैं लेकिन इनके मंसूबे कामयाब नहीं होंगे.''


चढ़ूनी पर एक्शन लेने की तैयारी में संयुक्त किसान मोर्चा
संयुक्त किसान मोर्चा ने इस मामले पर बयान जारी कर कहा, ''सयुंक्त किसान मोर्चा, श्री चढूनी द्वारा बुलाई "समस्त राजनैतिक दलों की बैठक" से संबंध नहीं रखता है. सयुंक्त किसान मोर्चा श्री चढूनी द्वारा राजनीतिक दलों के साथ की जा रही गतिविधियों से संबंध नहीं रखता है. सयुंक्त किसान मोर्चा, राजनैतिक दलों के साथ श्री चढूनी की चल रही गतिविधियों पर ध्यान देने के बाद, कल मोर्चे की एक आम सभा में चर्चा करके, एक समिति का गठन किया है जो इस मामले में जांच करेगी और 3 दिनों में अपनी रिपोर्ट देगी. इसके बाद सयुंक्त किसान मोर्चा आगे के कदम उठाएगा.''


चढ़ूनी के आरोपों पर क्या बोले शिवकुमार कक्का जी?
चढ़ूनी के आरोपों पर शिव कुमार शर्मा कक्काजी ने कहा कि वे आपने गिरेबान में झाकें. शिवकुमार कक्का जी ने कहा, ''संयुक्त किसान मोर्चा से निलंबन की कार्रवाई के कारण चढूनी ऐसा बयान दे रहे हैं. कक्का जी ने कहा कि कल की बैठक में चढूनी को निलंबित कर दिया गया है, उन्हें टर्मिनेट करने की कार्रवाई पर कमेटी आज शाम तक फैसला करेगी.''


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