केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री राम मोहन नायडू ने DGCA, एअर इंडिया और एयर इंडिया एक्सप्रेस के अधिकारियों के साथ रविवार (12 अक्टूबर, 2025) को हाई-लेवल मीटिंग कर सख्त चेतावनी दी है. हाल के दिनों में कई हार्ड लैंडिंग की घटनाओं ने मंत्रालय को भी चिंता में डाल दिया है. इसी को लेकर यह अहम बैठक बुलाई गई थी.

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केंद्रीय नागरिक उड्डयन मंत्री ने बैठक में क्या कहा?

राम मोहन नायडू ने बैठक में साफ कहा कि लंबी दूरी की उड़ानें (Ultra Long Haul Flights) चलाने वाले पायलटों को तुरंत अतिरिक्त सिम्युलेटर ट्रेनिंग दी जाए, ताकि यात्रियों की सुरक्षा और पायलटों की तैयारी दोनों को और बेहतर बनाया जा सके. केंद्रीय मंत्री ने यह भी साफ कहा कि अगर कोई पायलट उड़ान के दौरान किसी तकनीकी दिक्कत या गलती की ईमानदारी से रिपोर्ट करता है तो उसके खिलाफ कोई सख्त एक्शन नहीं लिया जाएगा.

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पायलट की गलती को लेकर क्या कहा?

केंद्रीय मंत्री ने साफ तौर पर कहा कि जो गलती अच्छे इरादे से बताई जाएगी, उस पर कोई कार्रवाई नहीं होगी. बैठक में यह सवाल भी उठा कि एयर इंडिया और एयर इंडिया एक्सप्रेस के कितने विमान फिलहाल ग्राउंडेड हैं, यानी कि उड़ान से बाहर हैं. इस पर मंत्री ने कहा कि त्योहारों के समय इतने विमान खड़े रहना ठीक नहीं, जब यात्रियों की सबसे ज़्यादा भीड़ होती है.

'त्योहारों में उड़ानें समय पर चलनी चाहिए'

नायडू ने DGCA को आदेश दिया है कि हर दिन उड़ानों और टिकट किराए की निगरानी करें, ताकि यात्रियों को कोई परेशानी न हो और कोई एयरलाइन मनमानी न कर सके. आखिर में उड्डयन मंत्री ने सभी विभागों को निर्देश दिया कि अगली समीक्षा बैठक से पहले पूरी एक्शन रिपोर्ट तैयार करें ताकि पता चले कि सुधार के लिए कौन-कौन से कदम उठाए गए हैं. मंत्रालय ने कहा कि त्योहारों में उड़ानें समय पर चलनी चाहिए, पायलट पूरी तैयारी में हों और यात्री बिना डर के सफर करें. 

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